ख़ुद को सुंदर नहीं, बदसूरत दिखाने के लिए नाक में लकड़ी पहनती हैं Apa Tani जनजाति की महिलाएं

Sanchita Pathak

भारत में कई जातियां और जनजातियां रहती हैं. कुछ जनजातियां ऐसी हैं, जिनका आधुनिकता से कोई वास्ता नहीं है. जनजातियों के रीति-रिवाज़ भी सतरंगी हैं. अपने दुश्मन के सिर काटकर घर लाने से लेकर, पूरे शरीर पर राम नाम गुदवाने तक, अलग-अलग जनजाति के लोग अलग-अलग रिवाज़ों का पालन करते हैं.

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जनजातियों के बीच, ख़ूबसूरती की भी अलग ही परिभाषा देखने को मिलती है. किसी जनजाति में औरतें, अपनी ख़ूबसूरती के लिए पूरे शरीर पर निशान(Tattoo) बनवाती हैं, तो कहीं-कहीं औरतें अपने कानों में लंबे-लंबे छेद करवाती हैं, या फिर अपनी गर्दन लंबी करवाती हैं.

Torquay के फ़ोटोग्राफ़र Pete Oxford ने Apa Tani जनजाति की औरतों की जो तस्वीरें खिंची, वो बहुत कुछ सोचने पर मजबूर कर देती हैं. इस जनजाति की औरतें ख़ुद को ख़ूबसूरत न दिखाने के लिए एक अजीब-सी रीति निभाती हैं. इस जनजाति की महिलाएं अपने नाक में लकड़ी के मोटे टुकड़े डालती हैं, ताकि पड़ोस के गांव के पुरुष उन्हें उठाकर न ले जाएं. ये औरतें अपने चेहरे को भी गुदवाती हैं.

औरतें खुद को ख़ूबसूरत बनाने के लिए क्या कुछ नहीं करती, पर Apa Tani जनजाति की औरतें खुद को बदसूरत बनाती हैं. भारत सरकार ने इस प्रक्रिया को ग़ैरकानूनी घोषित कर दिया था,इसलिए अब कोई महिला अपने साथ ऐसा नहीं करती. पर 40 वर्ष से ज़्यादा उम्र की महिलाओं को देखने पर ये बात प्रमाणित हो जाती है, कि किसी समय औरतें ये रिवाज़ मानती थी.

अपने अनुभव के बारे में बताते हुए Pete ने कहा, ‘वैसे तो मुझे मालूम था कि मुझे क्या दिखेगा, पर उन औरतों को पहली बार देखकर मैं चौंक गया. उनकी आंखों की चमक, ख़ूबसूरती के पर्यायों से परे थी. मैं जिस Home Stay में ठहरा था, उस घर की औरतों के भी नाक में लकड़ियां थी.’

Pete जिस गांव में गए, उस गांव में हर 40 वर्ष से ज़्यादा उम्र की महिलाओं के नाक में Nose Plugs थे. 70 के दशक के पहले तक पड़ोसी गांव के लोग इस जनजाति की महिलाओं को उठाकर ले जाते थे.

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जैसा कि होता आया है, पुरुषों ने ही औरतों को, ख़ुद को तकलीफ़ देने पर मजबूर किया. Nose Plugs वाला नियम भी पुरुषों द्वारा ही बनाया गया था.

Apa Tani जनजाति के लोगों को अपने रीति-रिवाज़ों से बहुत ज़्यादा लगाव है. घर की शांति और परिवार को बीमारियों से बचाने के लिए आज भी Shamanism का पालन किया जाता है. घर की सुख-शांति बनाए रखने के लिए घर में मुर्गियों की बलि दी जाती है.

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Apa Tani जनजाति अभी आधुनिकता से बहुत दूर हैं और बाहर के लोगों से इनको कोई संपर्क नहीं है. Pete ने ये भी बताया कि गांव के बाहर कुर्बानी के लिए बड़ी सी जगह बनाई गई थी, जहां बड़े जीवों की कुर्बानियां दी जाती है.

रहन-सहन के बारे में Pete ने बताया,

‘हर घर में मुर्गीयां और बकरियां पाली जाती हैं. कुत्तों की जगह घर से बाहर ही रहती है. अगर किसी Bitch ने बच्चे पैदा किए, तो इसका भी एक आसान सा तरीका था. 1-2 को पालो और बाकियों को खा लो.’
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हमारे देश में ऐसे बहुत सी छिपी जनजातियां हैं, जिनके बारे में हम ज़्यादा कुछ नहीं जानते, शायद जानना ही नहीं चाहते. ये जनजातियां आधुनिकता से दूर ही, आराम से गुज़र-बसर करती हैं.  

Source: Express

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