उत्तर-पूर्वी दिल्ली में भड़की हिंसा से 1 हेड कॉन्स्टेबल समेत 10 लोगों की मौत हो चुकी है. इलाके में 1 महीने के लिए धारा 144 लागू कर दिया गया है.
क्या हुआ था?
NDTV की रिपोर्ट के मुताबिक़, नागरिकता संशोधन क़ानून के समर्थक और विरोधी बीते सोमवार को उत्तर-पूर्वी दिल्ली में भिड़ गए. दोनों तरफ़ के लोगों ने एक-दूसरे पर पत्थरबाज़ी की, कई दुकानों और घरों को आग के हवाले कर दिया गया. इस हिंसा में एक हेड कॉन्सटेबल समेत 7 लोगों की मौत हो चुकी है और 100 से ज़्यादा लोग, 48 पुलिसवाले घायल हुए हैं.
सरकारी सूत्रों के मुताबिक़, राजधानी में हुई हिंसा ‘प्रि-प्लैन्ड’ थी और ट्रंप के भारत दौरे के एवज़ में पब्लिसिटी के लिए इसे अंजाम दिया गया. हालातों को देखते हुए दिल्ली सरकार ने इलाके के सभी प्राइवेट और सरकारी स्कूलों को बंद रखने के आदेश दिये.
घटनाओं का सिलसिला
India Today की रिपोर्ट के अनुसार, 22 फरवरी को रात 10:30 बजे के आस-पास महिलाओं समेत कई विरोध प्रदर्शक जाफ़राबाद मेट्रो स्टेशन के पास स्थित रास्ते पर जमा हुए थे. भीम आर्मी ने देशव्यापी बंध का आह्वान किया था. प्रदर्शकों ने कहा कि वो चांद बाग़ से राज घाट तक मार्च निकालेंगे.
23 फरवरी को सुबह 9 बजे वरिष्ठ अधिकारियों ने प्रदर्शकों से एरिया खाली करने की अपील की क्योंकि वहां ट्रैफ़िक जाम लग रहा था. दिल्ली पुलिस ने राज घाट तक के मार्च की भी अनुमति नहीं दी.
दोपहर 12 बजे, कपिल मिश्रा ने सोशल मीडिया पर अपने समर्थकों से कहा कि वो 3 बजे मौजपुर चौक में जमा हों और जाफ़राबाद रोड-जाम का जवाब दें.
दोपहर 3:30-4 बजे के आस-पास मिश्रा ने भड़काऊ भाषण दिए. मिश्रा ने कहा कि दिल्ली पुलिस ने उन्हें जाफ़राबाद जाने से मना किया है और वो दिल्ली पुलिस को 3 दिन का अल्टीमेटम देते हैं.
इसी दौरान, बाबरपुर में CAA विरोधियों ने मौजपुर चौक में जमा हुए CAA समर्थकों पर पत्थरबाज़ी शुरू की.
शाम 4-5 बजे के बीच मौजपुर, करावल नगर, मौजपुर चौक, बाबरपुर और चांद बाग़ में लड़ाईयां होने लगीं. पुलिस ने लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़. पैरामिलिट्री फ़ोर्स बताई गई.
रात के 7-8:30 बीच कुछ देर के लिए दोनों गुटों के बीच संघर्ष बंद हुआ.
रात 9-11 बजे के बीच करावल नगर, चांद बाग़, बाबरपुर और मौजपुर में फिर से संघर्ष शुरू हो गया, दुकानों में आग लगा दी गई.
24 फरवरी की सुबह जाफ़राबाद में प्रदर्शन जारी रहा.
सुबह 10 बजे के आस-पास जाफ़राबाद में बैठे प्रदर्शकों के पास CAA समर्थक पहुंचे, CAA के समर्थन में नारे लगाए और वहां से हटने से तब तक मना कर दिया जब तक विरोधी नहीं हटते.
Times of India की रिपोर्ट के अनुसार, बीते सोमवार सुबह 7 बजे मौजपुर चौक पर CAA समर्थकों ने सिट-इन प्रोटेस्ट का आयोजन किया था.
10 बजे के आस-पास समर्थकों से महज़ 200 मीटर की दूरी पर CAA विरोधी सड़क पर उतर आये.
10:30 बजे तक दोनों गुट पत्थरबाज़ी पर उतर आये.
दोपहर 2 बजे भीड़ ने 4-5 गाड़ियां, मौजपुर-बाबरपुर मेट्रो स्टेशन 1 गोडाउन/घर फूंक डाला.
भजनपुरा, करावल नगर, कदमपुरी, चांद बाग़, मौजपुर, ख़जूरी ख़ास जैसे इलाकों में भी पत्थरबाज़ी शुरू हो गई. पुलिसवालों पर भी ईंटें फेंकी गईं.
दोपहर 2:15 बजे एक शख़्स बंदूक लेकर भीड़ की तरफ़ बढ़ा और उसने 8 राउंड फ़ायर किए. इस शख़्स को रोकने के लिए एक पुलिसवाला उसके सामने भी गया. शख़्स की पहचान कर ली गई है. रिपोर्ट्स के मुताबिक़, मोहम्मद शाहरुख़ को बीते सोमवार देर शाम गिरफ़्तार कर लिया गया.
दोपहर 2:30 से 3:30 बजे के बीच में भीड़ ने 6 दुकानों के ताले तोड़े. इसी समय भजनपुरा स्थित एक पेट्रोल पंप को आग के हवाले कर दिया गया.
शाम 4 बजे शाम में भीड़ ने मौजपुर चौक कई दुकानों में तोड़-फोड़ की.
शाम 5 बजे जाफ़राबाद में अलग-अलग स्थानों में पत्थरबाज़ी की घटनाएं घटीं. यहां देर रात तक हालात बेक़ाबू रहे.
रात 8 बजे गोकुलपूरी में एक बाज़ार में आग लगा दी गई.
सरकार ने घटना पर लिया संज्ञान
मंगलवार सुबह अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली के विधायकों की मीटिंग बुलाई.
गृहमंत्री अमित शाह ने अरविंद केजरीवाल, एलजी अनिल बैजाल, पुलिस कमीश्नर अमुल्य पटनायक, कांग्रेस नेता सुभाष चोपड़ा, बीजेपी नेता मनोज तिवारी समेत कई नेताओं की मीटिंग ली.