आज करोडों लोग मोबाइल फ़ोन का इस्तेमाल करते हैं. साथ ही, एक-दूसरे से बात करने के लिए किसी ने किसी कंपनी के सिम कार्ड (SIM Cards) का भी यूज़ करते हैं. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आपके सिम कार्ड का कोना एक तरफ़ से कटा हुआ क्यों होता है?
शायद ही आपने कभी इस बारे में सोचा हो, अग़र ख़्याल आया भी होगा तो आप इस सवाल का जवाब नहीं ढूंढ पाए होंगे. मग़र आज हम आपको सिम कार्ड के इस यूनिक डिज़ाइन के पीछे की वजह बताने जा रहे हैं.
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दरअसल, शुरुआती दौर में जो फ़ोन मार्केट में आए थे, उनमें से सिम कार्ड निकालना मुमकिन नहीं था. इसका मतलब है कि आपने जिस ऑपरेटर का फ़ोन एक बार ले लिया, उसी का इस्तेमाल आपको हमेशा करना पड़ता था.
मग़र आगे चलकर तकनीक में बदलाव हुआ और ऐसे मोबाइल फ़ोन भी मार्केट में आ गए, जिनमें से सिम को बाहर निकाला जा सकता था. लेकिन उस वक़्त सिम कार्ड का कोना कटा हुआ नहीं होता था. उस वक़्त लोगों के लिए सिम कार्ड यूज़ करना काफ़ी नया था. ऐसे में बहुत से ग्राहक ठीक से सिम को मोबाइल में लगा ही नहीं पाते थे. उन्हें समझ नहीं आता था कि सिम को किस तरफ़ से फ़ोन में डालना है.
आगे चलकर ये समस्या काफ़ी बढ़ गई. बहुत से ग्राहक इस तरह की शिकायत करने लगे. ऐसे में कंपनियों ने सिम के डिज़ाइन में चेंज करने का सोचा, ताकि लोग आसानी से सिम को मोबाइल में इनसर्ट कर सकें.
इस समस्या से निजात पाने के लिए कंपनियों ने सिम कार्ड के कोने को एक तरफ़ से काट दिया. मोबाइल में जहां सिम लगता है, उस जगह पर भी ये कट का निशान बना रहता था, जिससे लोग अब आसानी से सिम को मोबाइल में डालने लगे. उस वक़्त से ही ये कट मार्क मोबाइल फ़ोन में सिम कार्ड के उचित स्थान के लिए एक गाइड के रूप में काम करता है.