सईद जाफ़री हिंदी सिनेमा के एक ऐसे कलाकर हैं, जिन्होंने बॉलीवुड ही नहीं हॉलीवुड में भी ख़ूब नाम कमाया है. वो एक मल्टी टैलेंटेड एक्टर होने के साथ ही कमाल के मिमिक्री आर्टिस्ट भी थे.
सईज जाफ़री का जन्म 8 जनवरी 1929 को पंजाब के मलेर कोटला में हुआ था. उनकी शुरुआती पढ़ाई अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के स्कूल मिंटो सर्कल में हुई. यहीं पर उर्दू पर उनकी पकड़ मज़बूत हुई. जब वो स्कूल में थे तब उन्होंने स्कूल में दारा शिकोह का एक प्ले किया था. इसके बाद से ही वो एक एक्टर बनने का सपना देखने लगे थे. 12 साल की उम्र में उनका दाखिला मसूरी के एक स्कूल में हो गया. यहां पर ही उन्होंने अंग्रेज़ी एक्सेंट में फ़र्राटेदार इंग्लिश बोलना सीखा था.
जाफ़री ने इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से ग्रेजुएशन की डिग्री प्राप्त की. फिर वो दिल्ली चले आए जहां पर उन्होंने ऑल इंडिया रेडियो में एक अनाउंसर की जॉब भी की. कुछ महीनों तक स्ट्रगल करने के बाद उन्होंने अपने दोस्त फ्रैंक ठाकुर दास और बेंजी बेनेगल के साथ मिलकर यूनिटी थिएटर की नींव रखी.
यहीं से उनके फ़िल्मी करियर की शुरुआत हुई, जो उन्हें हॉलीवुड तक ले गई. थिएटर की दुनिया में उनका नाम बहुत ही सम्मान से लिया जाता था. जाफ़री ने टेनिसी, इलियट, ऑस्कर वाइल्ड और शेक्सपियर की कृतियों में काम किया. वो पहले ऐसे बॉलीवुड एक्टर थे, जो शेक्सपियर के नाटकों का मंचन करने यूएस टूर पर गए थे.
उन्होंने ‘दी विल्बी कांस्पीरेसी’, ‘दी मैन हू वुड बी किंग’, ‘स्फिंक्स’, ‘अ पैसेज टू इंडिया’ जैसी हॉलीवुड फ़िल्मों में भी काम किया. बॉलीवुड में उन्होंने क़रीब 100 फ़िल्मों में कई यादगार किरदार निभाए हैं. इनमें गांधी, हिना, शतरंज के खिलाड़ी, चश्मेबद्दूर, दिल जैसी फ़िल्मों के नाम शमिल हैं.
सईद जाफ़री के बारे में कहा जाता है कि वो अपने किरदार को पर्दे पर निभाते नहीं बल्कि जीते थे. ये हैं उनके कुछ यादगार किरदार:
The Man Who Would Be King
इस फ़िल्म में उन्होंने एक गोरखा सैनिक का रोल निभाया था. इसमें उनकी अदाकारी देखकर हॉलीवुड वाले भी उनकी एक्टिंग के कायल हो गए थे.
शतरंज के खिलाड़ी
इसमें उन्होंने एक नवाब मीर साहब का किरदार निभाया था, जो शतरंज के खेल को लेकर ओबसेस्ड था. संजीव कुमार जैसे एक्टर के समाने उनकी एक्टिंग देखते ही बनती थी. इसके लिए उन्होंने बेस्ट स्पोर्टिंग एक्टर का फ़िल्म फ़ेयर अवॉर्ड भी जीता था.
गांधी
रिचर्ड एटनबरो कि इस फ़िल्म में जाफ़री ने सरदार वल्लभ भाई पटेल का रोल किया था. फ़िल्म में उनकी एक्टिगं देखते ही बनती थी. इस फ़िल्म ने ऑस्कर की 11 कैटेगरी में से 8 अवॉर्ड जीते थे.
चश्मेबद्दूर
इस रोमांटिक-कॉमेडी फ़िल्म में जाफ़री ने एक पान वाले का किरदार निभाया था. उनकी उम्दा एक्टिंग के लिए उन्हें बेस्ट स्पोर्टिंग एक्टर के लिए नॉमिनेट किया गया था.
My Beautiful Laundrette
इस मूवी में उन्होंने एक ब्रिटिश-पाकिस्तानी बिज़नेसमैन का किरदार निभाया था. इसमें उनके किरदार को लोगों ने ख़ूब पसंद किया था.
अपनी कमियों को कबूल करने में कभी पीछे नहीं हटने वाले सईद जाफ़री एक सशक्त अभिनेता और एक महान कलाकार थे और यही वजह है कि उनके द्वारा निभाए गए किरदार आज भी लोगों के दिलों में ज़िंदा हैं.
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