एक होती है एक्टिंग, एक होती है ओवर एक्टिंग और उसके बाद आते हैं इंडियन डेली सोप. नागिन-भूत-चुड़ैल-भालू से लड़ती बहुओं को देख कर जैसे-तैसे हम भारतीय कठोर-दिल बने ही थे कि हमारी परीक्षा लेने एक और शो आ गया, ‘पहरेदार पिया की’. इस शो के बारे में अभी तक काफ़ी कुछ लिखा जा चुका है. 10 साल के एक बच्चे का एक 23-24 साल की लड़की के साथ रोमांस दिखाना Concept के तौर पर ही ग़लत था.

जिस दिन शो का प्रोमो आया था, इस शो की आलोचना उसी दिन से शुरू हो गई थी. सबको ये लगा था कि शायद एपिसोड में इतना कुछ इस हद तक नहीं होगा, लेकिन इस शो ने इंडियन टेलेविज़न के सारे अपवाद तोड़ दिए.

पहले एपिसोड में रतन सा का दिया बाईसा का पीछा करना इतना Hot Topic बना, तो मैंने इसके 5 एपिसोड देखने की जुर्रत की. मुझे लगा था शायद शो देखने के बाद मैं इसमें कुछ न कुछ रीज़न ढूंढ लूंगी, लेकिन अफ़सोस, हर नए एपिसोड में मेरे दिमाग़ से लॉजिक से तार Fuse होते गए.

ये हैं ‘पहरेदार पिया की’ के कुछ वो सीन, जिन्हें देखने के बाद आप कहेंगे, ‘हमसे न हो पाएगा’:

1. लड़की का पीछा करता नन्हा-मुन्हा

रतन सा को दिया बाई सा इतनी पसंद आती हैं कि वो उनका पीछा करने लगते हैं. ये पीछे थोड़ा Creepy इसलिए था, क्योंकि रतन सा 10 साल के बच्चे हैं, क्लास 5 D में पढ़ते हैं और दिया बाई सा उनसे काफ़ी बड़ी हैं. लेकिन शो वालों ने ऐसा दिखाने से पहले लॉजिक किनारे रख दिया था.

2. कॉकरोच से इतनी बड़ी लड़की डर जाती है, पर बच्चा नहीं!

माना कि लड़के शैतान होते हैं, लेकिन वो कॉकरोच देख कर हर बच्चे को डर लगता है. क्योंकि शो को अजीबपने में PhD करनी थी, इसलिए उन्होंने ये दिखया कि इतनी बड़ी लड़की कॉकरोच से डर कर गिरने लगती है, लेकिन बच्चा हीरो की तरह उसे बचा लेता है. शो के Writers, आपकी जय हो!

3. बांहों में भरना

जिस तरह से दिया बाई सा रतन सा की बांहों में गिरती हैं और जितने Creepy तरीके से फ़िल्माया गया है, वो बहुत ही बुरा है. उस 10 साल के बच्चे से 25 साल के लड़के की एक्टिंग करवाई जा रही है और ये सच में Abnormal है.

4. बच्चे का पायल पहनाना, क्योंकि TRP से बढ़कर कुछ नहीं

दिया बाई सा को शो में इतना खूबसूरत दिखाया है कि इसके चक्कर में बच्चा Stalker बन चुका है. कौन सा बच्चा लड़कियों के कमरे में घुस कर, ऐसे किसी को पायल पहनाता है? जिस तरह इसे फ़िल्माया दिखाया है, वो सच में गन्दा लग रहा है.

5. कार में ब्लास्ट

इस बात के लिए शो को दाद देनी पड़ेगी कि इन्होंने इसके स्टोरी को जल्दी-जल्दी आगे बढ़ाया है. लेकिन आगे बढ़ाने के चककर में दिमाग़ पीछे छोड़ दिया है.

एक एपिसोड में रतन सा की मां जिस कार में बैठी रहती है, उसमें ब्लास्ट हो जाता है और पिताजी उन्हें बचाने के चककर में हवा में ऐसे उड़ते हैं, कि VFX भी इसके आगे फ़ेल है.

6. दिया बाई सा में किसी वीरांगना की आत्मा प्रवेश कर जाती है

रतन बाई सा नीचे गिर जाते हैं और पूरे महल में, इतने नौकर-चाकर होते हुए भी, राजपूतों की हवेली होते हुए भी, एक दिया बाई सा ही होती हैं, जो उन्हें बचाती हैं. ये पूरा सीन इतना कॉमिक कभी नहीं बनता, अगर इसमें स्क्रिप्ट और लॉजिक होता तो. इस पूरे ड्रामे का मकसद ये शो करना था कि कॉकरोच से डरने वाली लड़की, बिजली की तार से रतन सा को बचा लेती है.

दिया बाई सा is पहरेदार पिया की, Hence Proved!

7. कौन सी Modern लड़की शादी की बात से इतना शर्माती है?

दिया बाई सा को यूं तो मॉडर्न, पढ़ी-लिखी लड़की के रूप में दिखाया है, लेकिन जैसे ही उसकी बहन उसे बताती है कि उसके पिता ने उसका रिश्ता तय कर दिया है (उससे बिना पूछे), उसके चेहरे पर गुस्से की जगह शर्म आ जाती है. मतलब उसे कोई प्रॉब्लम नहीं कि बिना उसकी मर्ज़ी जाने, उसका रिश्ता तय कर दिया गया.

इस शो में आगे भी ऐसा बहुत कुछ है, जो आपके दिमाग़ और आपकी समझ को विचलित कर सकता है. मैंने सोचा था कि 7 एपिसोड पूरे देख लूंगी, लकिन अफ़सोस मुझसे भी न हो पाया.