एक्टर, सिंगर, डायरेक्टर और स्क्रीन प्ले राइटर. ये सारे हुनर एक ही इंसान में हैं, जिसकी तस्वीर आपको नीचे नज़र आ रही होगी.

बहुमुखी प्रतिभा का धनी कलाकार ये बच्चा अब बड़ा हो चुका है. क़ाबिलियत इतनी है कि अपनी पहली ही फ़िल्म में नेशनल अवॉर्ड पा गया. एक्टिंग की तो ऐसी कि बॉलीवुड (Bollywood) की सबसे बेहतरीन बायोपिक ही बना डाली.

हालांकि, कभी इसी बच्चे को उसकी मां ने घर से बाहर निकालने की धमकी दे डाली थी. वजह थी उसका पढ़ाई में मन ना लगना. मां ने कहा कि अगर तुम खुद को साबित नहीं कर पाए तो घर छोड़ देना.

अब आप सोच रहे होंगे कि आख़िर कौन है ये बच्चा? तो बस जवाब के लिए थोड़ा सा सब्र कीजिए. हम आपको कुछ हिंट दे देते हैं.

ये बच्चा ‘शोले’ का बहुत बड़ा शौक़ीन है. 50 बार से भी ज़्यादा बार फ़िल्म देख चुका है. इतना ही नहींं, इस फ़िल्म से उसका खानदानी रिश्ता भी है. दरअसल, ख़ुद उसके पिता शोले फ़िल्म की पटकथा लिखने वालों में से एक थे.

अब तो शायद आप समझ ही गए होंगे. अगर नहीं समझे तो बता दें, ये बच्चा कोई और नहीं, बल्क़ि मशहूर लेखक और गीतकार जावेद अख़्तर के बेटे फ़रहान अख़्तर हैं. फ़रहान ने सबसे पहले ‘दिल चाहता है’ की कहानी लिखी थी और फ़िल्म को डायरेक्ट भी किया था. पहली ही फ़िल्म के लिए उन्हें नेशनल अवॉर्ड तक मिल गया.

FARHAN AKHTAR.

फरहान ने राइटिंग और डायरेक्शन के बाद एक्टिंग और सिंगिंग में भी हाथ आज़माया. साल 2008 में फरहान की फिल्म ‘रॉक ऑन’ रिलीज़ हुई, जिसमें फ़रहान ने बतौर एक्टर डेब्यू किया और इस फिल्म में गाने भी गाए. वहीं, साल 2013 में उन्होंने ‘भाग मिल्खा भाग’ (Bhaag Milkha Bhaag) जैसे ज़बरदस्त बायोपिक में मिल्खा सिंह का किरदार निभाया. इस रोल के लिए उन्हें भले ही नेशनल अवॉर्ड ना मिला हो, मगर उनकी अदाकारी ने हर किसी का दिल जीत लिया था.

फ़रहान ने अपने करियर में ‘ज़िंदगी न मिलेगी दोबारा’, ‘भाग मिल्खा भाग’, ‘स्काई इज़ पिंक’ और ‘कार्तिक कॉलिंग कार्तिक’, ‘तूफ़ान’, ‘दिल धड़कने दो’ जैसी तमाम फिल्में कीं. वहीं, ‘दिल चाहता है’, ‘लक्ष्य’ और ‘डॉन’ जैसी मूवीज़ को डायरेक्ट किया है.

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