हाल ही में फ़िल्म RRR के गाने ‘नाटू नाटू’ (Naatu Naatu ) को बेहद प्रतिष्ठित गोल्डन ग्लोब (Golden Globe Award) अवॉर्ड मिला है. एम. एम. कीरावानी (MM Keeravani) इस सॉन्ग के कंपोज़र हैं. कीरवानी कई सुपरहिट हिंदी गाने भी कंपोज़ कर चुके हैं. ‘तुम आए तो आया मुझे याद, गली में आज चांद निकला’, ‘जादू है नशा है’, ‘आ भी जा, आ भी जा’. इन सभी गानों के लिए संगीत बनाया है कीरावानी ने. बस यहां उनका नाम एमएम करीम मिलता है. मगर सवाल है कि कीरावानी का नाम करीम कैसे हो गया? (MM Keeravani Worked with Three Different Names)
जी हां, यही चक्कर तो आज हम आपको बताएंगे. क्योंकि, कीरावानी के अलग-अलग इंडस्ट्री में तीन डिफ़रेंट नाम चलते हैं. ऐसा क्यों है आइए जानते हैं-
एस एस राजामौली के कज़िन भाई हैं MM Keeravani
कीरावानी RRR बनाने वाले एस एस राजामौली के कज़िन भाई हैं. राजामौली के पिता KV विजयेंद्र और कीरावानी के पिता भाई हैं. आपको ऐसा लग सकता है कि फ़िल्मी परिवार से होने के कारण कीरवानी का सफ़र बड़ा आसान रहा होगा. मगर ऐसा नहीं है. जब कीरवानी ने अपना फ़िल्मी करियर शुरू किया, उस वक़्त राजामौली महज़ 13 या 14 साल के थे.
साल 1987 में आई तेलुगु फिल्म Collector Gari Abbayi उनकी पहली फ़िल्म थी. उन्होंने फ़िल्म के म्यूज़िक के लिए असिस्ट किया था. कुछ साल बाद आई Manasu Mamatha. इस फ़िल्म से उन्हें कामयाबी मिली. लेकिन उन्हें पांव जमाने का मौका दिया राम गोपाल वर्मा की फिल्म Kshana Kshanam ने. इस फ़िल्म ने कीरवानी को म्यूज़िक डायरेक्टर के तौर पर स्थापित कर दिया.
इसके बाद उन्होंने Annamayya नाम की तेलुगु फिल्म, ‘इस रात की सुबह नहीं’, ‘क्रिमिनल’, ‘ज़ख्म’, ‘साया’, ‘जिस्म’ और ‘सुर’ जैसी हिंदी फ़िल्मों के लिए म्यूज़िक बनाया.
तीन अलग-अलग नामों के पीछे की कहानी
कीरवानी ने अलग-अलग फ़िल्म इंडस्ट्रीज में तीन अलग-अलग नामों से काम किया. तेलुगु इंडस्ट्री में उनका मूल नाम कीरावानी ही है. जबकि, हिंदी में ‘एम.एम. करीम’. वहीं, तमिल और मलयालम में ‘मराकादमनी’ नाम से काम करते हैं.
एम.एम. करीम नाम का पता तब चला था, जब कीरवानी प्रोड्यूसर रामोजी राव की एक फ़िल्म के लिए गाने कंपोज़ करने वाले थे. लेकिन क्रिएटिव डिफरेंस के चलते कीरावानी फ़िल्म से अलग हो गए.
रामोजी को ये बात पसंद नहीं आई. वो कीरावानी की जगह किसी और लेने निकल पड़े. उन दिनों उन्होंने ‘सुर’ के गाने सुने थे. बड़े पसंद भी आए थे. सोचा कि उसी के म्यूज़िक डायरेक्टर को अपनी फ़िल्म के लिए लाएंगे. उसके म्यूज़िक डायरेक्टर का नाम था एम.एम. करीम. फिर जब करीम से संपर्क हुआ तो मालूम पड़ा कि गंगाधर ही शक्तिमान है.
MM Keeravani worked with three different names
रिपोर्ट्स के मुताबिक, उनके इन तीन नामों के पीछे वजह उनके गुरु की भविष्यवाणी थी. दरअसल, जब कीरावानी 30 साल के थे, तब उनकी पत्नी प्रेग्नेंट थीं. उनके एक गुरु ने कहा कीरावानी को असमय मृत्यु का ख़तरा है. इससे बचना है तो अगले डेढ़ साल तक परिवार से दूर संन्यासी की भांति रहना होगा.
परिवार से दूर रहना तो अलग बात थी, मगर काम से कैसे दूर रहते. कीरावानी ने अपने गुरु से इसका समाधान पूछा. तो उन्होंने कहा कि काम कर सकते हो लेकिन नए नाम के साथ. बस इसके बाद कीरावानी हिंदी में करीम और तमिल और मलयालम में मराकादमनी हो गए.
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