फ़िज़िक्स की किताब में आपने पढ़ा होगा, Eye वाले चैप्टर में कि चीज़ों से रौशनी निकलती है जो आंखों में घुसती हैं और इस वजह से हम अलग-अलग रंग देख पाते हैं. तो अपनी आंखों का शुक्रिया करिए जिनकी वजह से दुनिया की ख़ूबसूरती हमें दिखती है.
तो इसका मतलब क्या है? अगला मारवेल का सुपरहीरो हम हैं या कुछ और?
एक रिपोर्ट के मुताबिक़, पलकों के पीछे Visible Spots (Phosphenes) की वजह से ऐसा होता है. हमारी आंखों के बारे में एक ही बात प्रचलित है कि जब वो खुली होंगी तभी हमें रंग दिखाई देंगे और बंद आंखों से कुछ नहीं दिखे. इस रिपोर्ट की मानें तो Vision System में काम करने वाले Neurons हमेशा एक्टिव होते हैं.
ज़्यादातर लोग आंखें मलने के बाद Phosphenes का अनुभव करते हैं. Phosphenes देखने के अलग तरीके भी हैं, जैसे अगर सिर या चेहरा कहीं से टकरा जाए या अगर आप बैठे-बैठे अचानक उठें या जब ज़ोरदार छींक आए.