भारत के उत्तर पूर्वी राज्य अरुणाचल प्रदेश ने मोदी सरकार के ‘बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ’ योजना को साकार करते हुए देश में सबसे अच्छे लिंगानुपात का रिकॉर्ड बनाया है. अरुणाचल प्रदेश में प्रति 1000 पुरुषों के मुक़ाबले 1,085 लड़कियों के साथ देश में सबसे अच्छा लिंग अनुपात दर्ज किया गया, जबकि मणिपुर सबसे ख़राब हालात में है. 

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नवंबर 2020 में भारत के ‘Registrar-General of India’ द्वारा जारी ‘नागरिक पंजीकरण प्रणाली पर आधारित भारत के महत्वपूर्ण आंकड़े’ रिपोर्ट 2018 के अनुसार, अरुणाचल प्रदेश ने देश में सर्वश्रेष्ठ लिंगानुपात दर्ज किया, जबकि मणिपुर में सबसे ख़राब लिंगानुपात दर्ज किया गया.  

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बता दें कि 30 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के आधार पर निर्धारित ये लिंगानुपात जारी किया गया है. बिहार, झारखंड, महाराष्ट्र, सिक्किम, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल से अपेक्षित जानकारी उपलब्ध नहीं हो पाई है.  

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अरुणाचल प्रदेश के अलावा पूर्वोत्तर के 2 अन्य राज्यों ने भी इस सूची में शीर्ष स्थान हासिल किया है. नागालैंड 965 लिंगानुपात के साथ दूसरे और मिज़ोरम 964 लिंगानुपात के साथ तीसरे, केरल 963 लिंगानुपात के साथ चौथे, जबकि कर्नाटक 957 लिंगानुपात के साथ पांचवे स्थान पर है. मणिपुर 757 लिंगानुपात के साथ इस सूची में सबसे आख़िरी पायदान पर है.

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मणिपुर के बाद देश में सबसे ख़राब लिंगानुपात लक्षद्वीप (839), दमन और दीव (877), पंजाब (896) और गुजरात (896) दर्ज किया गया है. दिल्ली (929) हरियाणा (914) और जम्मू-कश्मीर (952) दर्ज किया गया है.  

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बता दें कि भारत में जन्म और मृत्यु के पंजीकरण की आधिकारिक समय सीमा 21 दिन होती है. इस दौरान रजिस्ट्रार द्वारा नि: शुल्क प्रमाण पत्र जारी किया जाता है.