यूं तो ये मॉनसून का सीज़न है, लेकिन अभी तक देश के कई राज्यों में बारिश ने दस्तक तक नहीं दी है. इसमें तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद का नाम भी शामिल है. हालात ये हो गए हैं कि वहां पर सिर्फ़ 48 दिनों तक का ही पीने का पानी बचा है.

टाइम्स ऑफ़ इंडिया कि एक रिपोर्ट के मुताबकि, वहां के जलाशयों का वॉटर लेवल लगातार गिरता ही जा रहा है. इसका सबसे बड़ा कारण इसके जल ग्रहण क्षेत्रों में वर्षा न होना है. 

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तेलंगाना के जल विभाग का अनुमान है कि हैदराबाद और सिंकदराबाद सिटी के पास अगस्त के आख़िरी तक ही पीने लायक पानी बचा है. इन दोनों शहरों में लगभग 2 करोड़ लोग रहते हैं. जल बोर्ड के अधिकारी ने इस बारे में बात करते हुए कहा कि अगर यहां पर बारिश नहीं होती है, तो सितंबर के महीने की शुरुआत से ही यहां के लोगों को भारी जल संकट से जूझना पड़ सकता है. 

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वहां के नागार्जुनसागर, श्रीपदा येलमपल्ली और हिमायतसागर जैसे जलाशयों के जल ग्रहण क्षेत्रों बारिश की एक बूंद भी नहीं गिरी है. इसके चलते यहां का पानी तेज़ी से घट रहा है.  

Hyderabad Metropolitan Water Supply और Sewerage Board (HMWSSB) के मुताबिक, जुलाई तक यहां का वॉटर लेवल 5-10 फ़ीट तक बढ़ जाता है, लेकिन इस बार ऐसा नहीं हुआ है. 

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HMWSSB के अनुसार, इन जलाशयों का वॉटर लेवल अभी तक 1 फ़ीट तक भी नहीं बढ़ा है. इतना ही नहीं सामान्य दिनों के मुकाबले कई शहरों के जलाशयों का जल स्तर 12-6 फ़ीट तक गिर गया है, जो काफ़ी चिंताजनक है. 

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हालांकि, अधिकारियों को आशा है कि आने वाले 2-3 सप्ताह में बारिश हो जाएगी और जलाशयों का जल स्तर बढ़ जाएगा. वहीं दूसरी तरफ प्रशासनिक अधिकारियों ने किसी भी स्थिति से निपटने के लिए जल विभाग को तैयार रहने को कहा है. साथ अन्य विभागों से भी इसका हल तलाशने को कहा है. 

जिस तरह से देश के अलग-अलग राज्यों में जल संकट गहराता जा रहा है, उससे हमें सबक लेते हुए तत्काल जल संरक्षण करने में जुट जाना चाहिए. क्योंकि इसी में हम सबकी भलाई है.