Crorepati Chaiwala Bihar: हमारे देश में चाय को अगर Drink Of India कहा जाए तो वो ग़लत नहीं होगा. यहां पर लाखों की तादात में चाय के स्टॉल, थड़ी और कैफ़े हैं और सारे ही चलते हैं. कोई भी ऐसे नहीं हैं कि न चलते हों यही वजह है कि भारत में लोग चाय का बिज़नेस जल्दी करते हैं. इसीलिए यहां ‘MBA चायवाला’, ‘छोटू दादा चायवाला’, ‘ग़रीब चायवाला’ और अब ‘करोड़पति चायवाला’, जिनका नाम दीपक कुमार है और ये बिहार के भागलपुर में एक चाय की दुकान चलाते हैं. दीपक का चाय बेचने का अंदाज़ बहुत निराला है इसलिए भी लोग इनसे प्रभावित होते हैं क्योंकि दीपक कुमार सूट-बूट पहनकर चाय बेचते हैं.

Crorepati Chaiwala Bihar

चलिए, दीपक की कोरड़पति चायवाला (Crorepati Chaiwala Bihar) के पीछे की दिलचस्प कहानी जानते हैं.

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बिहार के बांका ज़िले के छोटे से कस्बे अमरपुर के रहने वाले दीपक कुमार ने Tilka Manjhi Bhagalpur University से ग्रेजुएट किया है. पढ़ाई पूरी होने के बाद जब नौकरी नहीं मिली तो उन्होंने चाय की दुकान लगा ली. दीपक की करोड़पति चायवाला की रेड़ी भागलपुर के तिलकामांझी चौक से 100 मीटर की दूरी पर है. इनकी रेड़ी पर सुबह से ही ग्राहकों की लाइन लग जाती है. अपने काम के बारे में दीपक कहते हैं,

मेरे लिए कोई भी काम छोटा या बड़ा नहीं है मुझे नौकरी नहीं मिली तो मैंने चाय की रेड़ी खोल ली.

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दीपक के स्टॉल पर 5 तरह की चाय मिलती है, जिसमें रेगुलर चाय 10 रुपये, लेमन टी 10 रुपये, अदरक वाली चाय 15 रुपये, लौंग इलायची वाली चाय 20 रुपये और 25 रुपये में स्पेशल चाय मिलती है. दीपक ने अपने स्टॉल के यूनिक नाम के बारे में बताया,

चाय हर किसी की ज़िदंगी का हिस्सा होती है चाहे वो सड़क पर बैठा ग़रीब हो या महलों में बैठा अमीर, रोडपति हो या करोड़पति बस इसीलिए मैंने अपने स्टॉल का नाम कोरड़पति चायवाला रख दिया. दूसरी वजह ये कि दूसरों की तरह मैं भी करोड़पति बनना चाहता हूं ऐसे तो नहीं बन सकता इसलिए स्टॉल का नाम ही करोड़पति रख लिया. मेरे स्टॉल में शुद्ध दूध से चाय बनाई जाती है, यही मेरी आजाविका का साधन है.

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कोट पहनकर चाय बेचने के बारे में बताया कि,

जब नौकरी ढूंढ रहे थे तब ये कोट-पैंट लिया था, लेकिन नौकरी नहीं मिली तो अब कोट-पैंट पहनकर चाय बेचते हैं.

आपको बता दें, दीपक ने 14 फरवरी यानि वैलेंटाइंस डे पर सिंगल्स को फ़्री में चाय पिलाई थी तो कपल्स से चाय के पैसे लिए थे.