भारत अपनी सभ्यता, संस्कृति, धर्म, कला और योग के लिए दुनियाभर में प्रसिद्ध है. दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश भारत अपनी ऐतिहासिक विरासतों के लिए भी विश्व प्रसिद्ध है. दुनियाभर से हर साल लाखों लोग हमारी इस सांस्कृतिक विरासत को जानने और समझने के लिए भारत आते हैं. लेकिन पिछले कुछ दशकों से हम भारतीय अपनी कुछ बुरी हरक़तों के कारण देश की संस्कृति को ख़राब करने का काम कर रहे हैं.  

आइये जानते हैं वो कौन-कौन सी बातें हैं जिनकी वजह से हमारे देश का कल्चर ख़राब हो रहा है- 

1- महिलाओं के साथ रेप की घटनाएं  

भारत में 20वीं सदी के मुक़ाबले 21वीं सदी में महिलाओं के साथ रेप की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं. NCRB के आंकड़ों के मुताबिक़, देश में हर दिन रेप की 88 घटनाएं सामने आती हैं, जबकि कई मामलों में तो रिपोर्ट दर्ज ही नहीं होती.  

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2- दहेज के लिए महिलाओं का उत्पीड़न 

देश बदल रहा है, लेकिन कुछ लोगों की सोच कभी नहीं बदलने वाली. आज भी देश में कई महिलाओं को दहेज़ के लिए प्रताड़ित किया जाता है. कई मामलों में तो पति, सास और ससुर दहेज़ के लिए बहू को मौत के घाट उतारने से भी नहीं डरते. भारत में हर दिन दहेज़ के कारण 20 महिलाएं अपनी जान गंवाती हैं. 

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3- बाल यौन शोषण

देश में आज भी हर दिन 6 महीने से लेकर 17 साल की बच्चों के साथ लगातार रेप की घटनाएं सामने आ रही हैं. कई मामलों में तो आरोपी परिवार का ही कोई सदस्य होता है. पढ़े लिखे होने के बावजूद कुछ लोगों इस तरह की घिनौनी हरकतें करके इंसानियत को शर्मसार कर रहे हैं.  

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4- LGBTQ+ समुदाय के लोगों को समाज का हिस्सा न मानना 

दुनिया के कई देशों में सेम सेक्स शादी को क़ानूनी मान्यता प्राप्त है, लेकिन हमारे देश में आज भी LGBTQ+ समुदाय के लोगों को समाज का हिस्सा ही नहीं माना जाता है. इस समुदाय के लोगों को किसी भी तरह के सामाजिक सरोकार से भी दूर रखा जाता है.  

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5- किसी के ख़िलाफ़ रेसिस्ट कमेंट करना  

21वीं सदी में भी कुछ लोग सुधरने का नाम नहीं ले रहे हैं. आज भी हमरे देश में किसी के चेहरे, रंग, शरीर की बनावट को लेकर कमेंट करना आम बात है. चिंकी, कालू, नाटू, मोटा, टाइप शब्दों का इस्तेमाल किया जाता है.  

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6- बाल श्रम 

भारत में ‘बाल श्रम’ ग़ैर क़ानूनी है, बावजूद इसके कई लोग बाल मज़दूरी को बढ़ावा दे रहे हैं. आज भी देश के घरों, फ़ैक्ट्रियों, ढाबों में छोटे-छोटे बच्चों से मज़दूरी कराई जा रही है, जिससे न सिर्फ़ देश का भविष्य, बल्कि देश का कल्चर भी ख़राब हो रहा है.  

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7- राजनेताओं के भड़काऊ बयान  

मुद्दा कोई भी हो, हमारे देश के राजनेता उस पर बयान देना कभी नहीं भूलते. चाहे वो रेप का मामला हो या फिर कोई सम्प्रायिक घटना. राजनेता अपने भड़काऊ और असंवेदनशील बयानों से देश की गंगा जमुनी तहज़ीब को ख़त्म करने का काम करते हैं. 

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8- न्यूज़ चैनलों पर प्रसारित होने वाली भड़काऊ डिबेट  

ज़िन्दगी में हर दिन ख़ुश रहना है तो आज से ही न्यूज़ चैनलों पर प्रसारित होने वाली भड़काऊ डिबेट देखना बंद कर दो फ़ायदे में रहोगे. टीवी चैनलों पर प्रसारित होने वाली ये डिबेट सिर्फ़ और सिर्फ देश का माहौल ख़राब करने का काम करती हैं. इनका जनता के सरोकार से कोई मतलब नहीं होता है.  

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9- OTT प्लेटफ़ॉर्म पर फ़िल्मों व वेब सीरीज़ में बेमतलब की गालियां  

पिछले कुछ सालों से OTT प्लेटफ़ॉर्म लोगों की पहली पसंद बना हुआ है, लेकिन इस प्लेटफ़ॉर्म पर प्रसारित होने वाली फ़िल्मों व वेब सीरीज़ में दिखाई जानी वाली फूहड़ता और बेमतलब की गालियों बे-सिर-पैर का मनोरंजन है. ऑडियंस तक अपनी बात पहुंचाने के लिए फूहड़ता की नहीं, बल्कि अच्छी कहानी की ज़रूरत होती है.  

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10- एकता कपूर के सीरियल व करण जौहर की फ़िल्में  

सच कहूं तो एकता कपूर के सीरियल और करण जौहर की फ़िल्मों ने अच्छा कॉन्टेंट और अच्छा सिनेमा देखने वालों का हाल बुरा कर रखा है. ‘नागिन 12345’ हो या फिर ‘स्टूडेंट ऑफ़ द ईयर’ एकता और करण ऑडियंस को न जाने क्या दिखाने की कोशिश कर रहे हैं.  

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अगर आपको भी लगता है कि इनमें से किसी चीज़ की वजह से हमारे देश की संस्कृति को नुक्सान हो रहा है तो हमें कमेंट करें.