BCCI ने साल 2018-19 के लिए सालाना कॉन्ट्रैक्ट का ऐलान कर दिया है. पिछली बार की तरह ही इस बार भी खिलाड़ियों को A +, A, B और C ग्रेड्स में बांटा गया है.
इस कॉन्ट्रैक्ट के तहत A+ ग्रेड वाले खिलाड़ियों को सालाना 7 करोड़, A ग्रेड वालों को 5 करोड़, B ग्रेड वालों को 3 करोड़ जबकि C ग्रेड वाले खिलाड़ियों को सालाना 1 करोड़ रुपये दिए जायेंगे.
BCCI ने साथ ही महिला क्रिकेटरों के लिए भी सालाना कॉन्ट्रैक्ट जारी किया है, जिसमें किसी भी तरह का बदलाव नहीं किया गया है. इसका मतलब ये कि A ग्रेड वाले खिलाड़ियों को पिछले साल की तरह ही सालाना 50 लाख, B ग्रेड वालों को 30 लाख जबकि C ग्रेड वाले खिलाड़ियों को सालाना 10 लाख रुपये दिए जायेंगे.
BCCI के अधिकारी अकसर महिला अधिकारों की बात करते हैं, लेकिन हर साल जब भी सालाना कॉन्ट्रैक्ट जारी किया जाता है, उसमें महिला क्रिकेटरों की साफ़ तौर पर अनदेखी की जाती है.
दरअसल, पुरुष और महिला क्रिकेटरों को मिलने वाले पैसों में ज़मीन आसमान का अंतर है. पुरुष क्रिकेट के सबसे निचले C ग्रेड के खिलाड़ियों को 1 करोड़ रुपये दिए जा रहे हैं, जबकि महिला क्रिकेट के टॉप ग्रेड वाले खिलाड़ियों को मात्र 50 लाख रुपये.
जब पुरुष और महिला क्रिकेटर देश के लिए उसी हक़ और सम्मान के साथ खेलते हैं, तो फिर देश की इन बेटियों के साथ इतना भेदभाव क्यों? महिला खिलाड़ियों के सालाना कॉन्ट्रैक्ट में कोई बदलाव नहीं, आख़िर पुरुषों के सालाना कॉन्ट्रैक्ट में 2 करोड़ की बढ़ोतरी क्यों?
अब सवाल ये उठता है कि क्या बीसीसीआई प्रशासक समिति की सदस्य व पूर्व महिला क्रिकेटर डायना एडुल्जी को इतना बड़ा अंतर दिखाई नहीं दिया? या फिर अपनी सीट बचाने के चक्कर में वो चुप हैं.
BCCI दुनिया का सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड है. बावजूद इसके बोर्ड अपनी कुल कमाई का मात्र 8 से 10 फ़ीसदी पैसा ही खिलाड़ियों की सैलरी पर ख़र्च करता है.
किस पुरुष क्रिकेटर को मिला कितना पैसा?
कप्तान विराट कोहली, उप-कप्तान रोहित शर्मा और तेज़ गेंदबाज़ जसप्रीत बुमराह को A+ ग्रेड में रखा गया है. इन तीनों को सालाना 7-7 करोड़ रुपये दिए जाएंगे.
किस महिला क्रिकेटर को मिला कितना पैसा?
कप्तान मिताली राज, हरमनप्रीत कौर, स्मृति मंधाना और पूनम यादव को A ग्रेड रखा गया है. इन सभी को सालाना 50-50 लाख रुपये दिए जायेंगे.
आज महिलाएं किसी भी काम में पुरुषों से कम नहीं हैं, फ़िर भी हमारे देश में महिलाओं और पुरुषों में इसी तरह का अंतर पैदा किया जाता है.