हम आये दिन बहुत सारे ब्रैंड्स के उत्पाद उपयोग करते हैं. मैगी, पेप्सी, अमूल जैसे ब्रैंड्स को तो हम उनके लोगो से ही पहचान जाते हैं. ये ब्रैंड्स हमारी ज़िंदगी का अभिन्न अंग बन गए हैं, लेकिन इनके नाम का उद्भव कैसे हुआ, ये हमें नहीं पता है. तो कोई बात नहीं, ग़ज़बपोस्ट है न आपको बताने के लिए.

1. Canon

कैनन को पहले ‘KWANON’ बुलाते थे जो कि दया के बौद्ध भिक्षु का जापानी नाम है. बाद में इसका नाम बदल कर कैनन कर दिया गया.

2. Google

गूगल नाम पड़ा ‘GOOGOL’ से जिसका अर्थ है 1 के बाद 100 शून्य.

3. Sony

ये नाम आया है एक लैटिन शब्द ‘SONUS’ से जिसका अर्थ है ध्वनि. ये भी कहते हैं कि ‘सोनी’ बना अमेरिकन स्लैंग ‘SONNY’ से, जिसका अर्थ है प्रफुल्लित नौजवान.

4. Nike

ग्रीक में विजय की देवी को नाइकी कहते हैं. नाइकी के नीचे का ‘SWOOSH’ उस देवी की उड़ान को दर्शाता है.

5. Volkswagen

जर्मन में वॉक्सवैगन का अर्थ है ‘जनता की कार’. पहले जर्मनी की सड़कों पर सिर्फ़ महंगी गाड़ियां ही चलती थीं और वॉक्सवैगन ने अपनी टेक्नोलॉजी से ऑटोमोबिल इंडस्ट्री में क्रांति ला दी.

6. Adidas

एडिडास के मालिक का नाम था अडोल्फ़ डेसलर, जिन्हें प्यार से एडी भी बुलाते थे. तो ‘एडी’ और ‘डेसलर’ मिल कर बन गया एडिडास.

7. Nokia

नोकिआ की पहले एक वुड-पल्प मिल हुआ करती थी. उन्होंने अपने उद्योग को बढ़ाया और रबर के उत्पाद बनाने लगे. जिस शहर में उन्होंने ये कारोबार शुरू किया, उस शहर का नाम था नोकिआ.

8. Coca-Cola

कोका-कोला में 2 मुख्य सामग्रियां होती हैं. एक कोका की पत्तियां और दूसरा कोला बेरीज़.

9. Amazon

एमेज़ॉन के सीईओ को अपनी कंपनी का नाम ‘A’ से रखना था. उन्होंने एमेज़ॉन पर मोहर लगायी क्योंकि दुनिया की सबसे बड़ी नदी का नाम भी एमेज़ॉन है और वो चाहते थे कि उनकी कंपनी भी उतनी ही बड़ी बने.

10. Intel

इंटेल ‘इंटीग्रेटेड इलेक्ट्रॉनिक्स’ का शॉर्ट फॉर्म है.

तो देखा आपने, हर ब्रैंड के नाम के पीछे एक कहानी है. ये सारे ब्रैंड्स इतने बड़े इसलिए बने हैं क्योंकि ये अपने सिद्धांतों को बहुत गंभीरता से लेते हैं. इस आर्टिकल शेयर करना न भूलें.