हम सब इस बात से वाकिफ़ हैं कि 1947 से पहले भारत पर ब्रिटिश सरकार की हुकूमत थी. सन् 1877, 1903 और 1911 में ब्रिटिश सरकार ने दिल्ली में कुल तीन विशाल दरबार लगाए थे, जिन्हें ‘दिल्ली दरबार’ के नाम से जाना जाता है. सन 1911 का दरबार एक मात्र ऐसा दरबार था, जिसमें किंग जॉर्ज पंचम स्वंय पधारे थे. 1903 के दिल्ली दरबार में लॉर्ड कर्ज़न ने बादशाह एडवर्ड सप्तम की ता­ज़पोशी की घोषणी कर, ब्रिटिश सरकार का शक्ति प्रदर्शन किया था. शान-ओ-शौकत से भरे इस दरबार के लिए ब्रिटिश सरकार ने काफ़ी पैसे ख़र्च किए थे.

आज हम आपको दिखाते हैं, सन् 1903 के दिल्ली दरबार की कुछ ऐसी अनदेखी तस्वीरें, जो आपने अबतक नहीं देखी होंगी.

1. दिल्ली दरबार का अद्भुत दृश्य.

2. कुछ ऐसा होती थी, हाथी की सवारी.

3. ऐसा था ब्रिटिश सरकार का शक्ति प्रदर्शन.

4. कितने हाथी, अंदाज़ा लगाना मुश्किल है.

5. किसी फ़िल्मी सीन से कम नहीं है, इतिहास का ये दृश्य.

6. अंग्रज़ी शासन की ध़मक साफ़ नज़र आ रही है.

7. दिल्ली दरबार का नज़ारा.

8. इतिहास के पन्नों में एक तस्वीर ये भी दर्ज है.

9. उस दौरान ऐसे की जाती थी घोषणा.

10. लाल किले का भव्य दृश्य देखा जा सकता है.

11. काफ़ी ख़र्चीला थे ये दरबार.

12. लॉर्ड कर्ज़न और लेडी कर्ज़न, 1903 के दिल्ली दरबार में शामिल हुए थे.

13. 1903 के दिल्ली दरबार के दौरान, रीवां के महाराजा की हाथी की सवारी.

14. काफ़ी रोचक रहा है, दिल्ली दरबार का इतिहास.