बचपन से लेकर अब तक हमारी ज़िंदगी कई मायनों में काफ़ी बदल चुकी है. वो चाहे हमारे रहन-सहन का ढंग हो या फिर दोस्त के साथ मस्ती करने का अंदाज़. आपको ये बात तो पता होगी कि स्कूल जाने वाले बच्चों की नई Classes शुरू हो चुकी हैं. स्कूल के नये Session के साथ ही, वो गर्मी की छुट्टियों के लिये भी काफ़ी उत्साहित लग रहे हैं. 


इन छोटे-छोटे बच्चों को गर्मियों की छुट्टियों के लिये ख़ुश देख कर मुझे मेरी गर्मियां की छुट्टियां याद आने लगी. वो गर्मियों की छुट्टियां, जिनमें भाग-दौड़ के बावजूद ख़ुशियां और सुकून होता था. यही समय होता था, जब मुझे खुलकर वो करने की आज़ादी होती थी, जो मैं पूरे साल नहीं कर पाती थी. मैं हमेशा सोचती हूं कि पहले जैसे न अब हमारे पास ज़िंदगी जीने का समय है और न ही दोस्तों के साथ ज़्यादा घूमने-फिरने का. यही वजह है कि आज भी मुझे गर्मी की छुट्टियां बहुत याद आती हैं.  

कम से कम गर्मी की छुट्टियों में हमें वो करने की आज़ादी तो होती थी, जो हम पूरे साल नहीं कर पाते थे. गर्मी की छुट्टियां मिस करने की ये 10 बहुत बड़ी वजहें हैं: 

1. नानी-दादी के घर जाने का इंतज़ार 

नये Section में जाते ही, बस इसी चीज़ का इंतज़ार शुरु हो जाता था कि जल्दी से गर्मी की छुट्टियां मिल जाएं. क्योंकि यही समय होता था, जब हम दादी-नानी के घर जाकर अपने सारे अरमान पूरे कर सकते थे.  

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2. दोस्तों के साथ जी भर कर खेलना  

स्कूल बंद होने के बाद हमारे पास टाइम ही टाइम होता है, जिसमें सुबह से लेकर शाम तक दोस्तों के साथ जी भर मस्ती करना होता था.  

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3. एक्सट्रा एक्टिविटी के लिये सही समय  

डांस सीखना हो, स्वीमिंग करनी हो या फिर सिंगिंग क्लासेस जॉइन करनी हो. ये सारी चीज़ें सीखने के लिये गर्मी की छुट्टियां सबसे ज़्यादा अच्छी लगती थी.  

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4. कॉमिक्स पढ़ना, फ़ेवरेट सीरियल्स देखना  

गर्मियों की छुट्टियों में चाहें कितनी ही कॉमिक्स पढ़ो या टीवी देखो, कोई रोकने वाला नहीं होता था.  

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5. वीडियो गेम्स खेलना 

दोस्तों को बुलाकर आराम से कमरे में बैठकर वीडियो गेम खेलने का वो समय भी काफ़ी मज़ेदार था.  

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6. रातभर भाई-बहनों के साथ गपशप  

गर्मियों की वो रातें अब भी याद आती हैं, जब हम छुट्टियों में Cousins के साथ छत पर लेट कर एक-दूसरे का मज़ाक बनाया करते थे.  

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7. मम्मी से अपनी मनचाही डिश बनवाकर खाना 

उस समय मम्मी से बोलकर अपनी मन पसंद डिश बनवा कर खाने का सुकून ही अलग था.  

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8. सुबह जल्दी उठने की चिंता नहीं 

पूरे साल स्कूल जाने के लिये जल्दी उठना पड़ता था, लेकिन छुट्टियों में जल्दी उठने की कोई चिंता ही नहीं होती थी. 

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9. बगीचे से आम तोड़ कर खाना 

गांव जाते ही सबसे पहला काम यही होता था कि पत्थर फ़ेंक कर बागों से आम तोड़ कर खाना.  

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10. गर्मियों के लिये नये-नये कपड़े खरीदना 

दादी-नानी के घर जाने से पहले मम्मी के साथ शॉपिंग पर जाना भी बहुत याद आता है.  

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ये, तो हुई मेरी बात. अगर आप भी गर्मी की छुट्टियों को मिस करते हैं, तो कमेंट में दिल की बात कह सकते हैं.