घर के वातावरण को प्रोडक्टिव बनाए रखने के लिए ज़रूरी है कि घर का माहौल सकारात्मक हो. ये सकारात्मक माहौल सिर्फ़ सफ़ाई से नहीं बनता और भी चीज़ें हैं, जो घर में पॉज़ीटव एनर्ज़ी लाती हैं.
1. कबाड़ को दूर रखें
जिस कमरे में सोना, खाना, पढ़ना इत्यादी होता है. कोशिश कीजिए कि उस कमरे में कबाड़ की वस्तु न रखी हो. इससे भी आपके ऊपर नकारात्मक ऊर्जा हावी होती है.
2. सुगंधित फूल
वातावरण में ताज़गी बनी रहेगी, तो अच्छे-अच्छे ख़्याल आएंगे. नकली ख़ूशबुओं से बेहतर होगा, असली फूलों का सहारा लें और वक़्त पर उसे बदलते भी रहें.
3. जाले न लगने दें
घर में मकड़ी के जालों का दिखना आलसपन की एक निशानी है, जो नकारत्मकता की ओर आगे बढ़ाती है. इस तरह की नकारत्मकता को घर में न आने दें. महीने में एक बार ज़रूर घर की पूरी तरह से सफ़ाई करें.
4. वस्तुओं की अदला-बदली
जी हां, घर को वस्तुओं को सालों तक एक ही जगह पर मत रखें. नयापन लाने के लिए ज़रूरी है कि उनके स्थान में हेर-फेर भी होती रहे. भारी चीज़ों के साथ ऐसा करना संभव नहीं है लेकिन कम से कम छोटी वस्तुओं तो ज़रूर इधर से ऊधर की जा सकती हैं.
5. पेंटिंग
साल में एक बार ज़रूर घर की रंगाई-पुताई करें. अकसर लोग त्योहारों के वक्त ऐसा करते ही हैं. कोशिश कीजिए नए रंगों से भी घर को सजाएं.
6. सूर्य की रोशनी
घर में सीध-सीधे सूर्य की रौशनी का आना ज़रूरी है. सुबह-सुबह खिड़कियों और दरवाज़ों को ज़रूर कुछ देर खोल कर रखें, ताकी रौशनी और ताज़ी हवाएं आएं.
7. टूटी वस्तुएं
अक्सर ऐसा होता है कि कोई काम की चीज़ टूट जाती है, तो भी हम उसमें जुगाड़ लगा कर उससे काम निकाल लेते हैं. इसका प्रभाव भी सही नहीं पड़ता.
8. अच्छे विचार
दीवारों पर महान व्यक्तियों की तस्वीरें और उनके विचारों को ज़रूरी जगह दें. इन्हें पढ़ कर आपके भीतर मोटिवेशन जागेगा.
9. बुरी आदतें
देर तक सोना, बेवक्त ख़ाना, गंदगी फैलाना जैसी आदतों के त्यागने से भी शरीर और घर में सकारात्मक उर्जा का प्रवाह शुरु होता है.
10. ध्यान
अगर आपको लगता है कि आपके घर में नकारात्मकता बढ़ रही है तो उसे मेडिटेशन से ठीक किया जा सकता है. सप्ताह में तीन से चार बार ध्यान लगाने से काफ़ी फ़र्क महसूस करेंगे.