मछली के साथ या खाने के बाद दूध मत पियो…’ ये बात आपने घर पर ज़रूर सुनी होगी. अगर आप कभी ऐसा करने की सोचें भी तो मां के हाथों लपड़ियाए जाने का ख़तरा होता है. (Can You Drink Milk After Eating Fish)
क्यों? ये सवाल ही नहीं बनता. हमें हमेशा बताया गया है कि अगर मछली के साथ दूध पिया तो विटिलिगो यानी त्वचा पर सफेद चकत्ते पड़ जाएंगे. हाल ही में एक ट्विटर यूज़र ने भी इस ओर लोगों का ध्यान खींचा.
उज़ैर रिज़वी नाम के ट्विटर यूज़र ने लिखा, ‘मेरी मां अभी भी घबरा जाती हैं अगर मै मछली खाने के बाद दूध पी लूं तो. क्या ये सिर्फ़ भारतीय और पाकिस्तानी मांओं का ही मसला है?’
बस उनका ये ट्वीट आया नहीं कि सब अपने-अपने एक्सपीरियंस बताने लगे. मालूम पड़ा कि भारत, पाकिस्तान ही नहीं, बल्क़ि बांग्लादेश, मिडिल ईस्ट और यहूदियों तक में ऐसी ही बातें चलती हैं.
मसलन, यहूदियों का एक संप्रदाय मछली खाने के बाद दूध पीने को लेकर बहुत सावधान रहता है. वहीं, कुछ ने इसे यूनानी चिकित्सा का एक दर्शन बताया तो कुछ लोगों की धारणा है कि एक साथ दोनों चीज़ें खाने से पेट में दर्द, सूजन, मतली, उल्टी जैसी शिकायत हो जाती है.
Can You Drink Milk After Eating Fish
Also with Moroccan, she gets very mad about it 😂😂😂
— Yassine El Maghrabi (@Yassinesss_) January 6, 2023
in the prophetic medicine
— Hafsa Khan (@hafsa_khan7) January 6, 2023
and according to hadith,
it is discouraged…
Apparently can cause allergic reactions. According to ayurveda they require different types of enzymes to break down. This increases the workload on the digestive system and causes an imbalance of energy in the body. Jews don’t mix meat & dairy.
— Reena (@Chutneymary1) January 6, 2023
I think it’s a Jewish belief originally. They still do it. Smth to do with Kosher
— Daniyal Ahmad (@dahmad97) January 7, 2023
No its Irani Afghani and middle eastern also
— Mohsin Ali (@moxie_ali) January 7, 2023
मगर क्या ये वाक़ई सच है?
क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स?
विशेषज्ञों की मानें तो ये सब फालतू बात है. दूध और मछली के एक साथ सेवन से कुछ नहीं होता. त्वचा पर सफ़ेद निशान पड़ जाने का दूध या मछली के एक साथ खाने से कोई लेना देना नहीं है. यहां तक कि विटिलगो का खाने-पीने से ही संबंध नहीं है. ये तो एक ऑटोइम्यून डिज़ीज है, जिसमें आपका इम्यून सिस्टम मेलेनिन के ख़िलाफ एंटीबॉडी बनाना शुरू कर देता है. मेलेनिन त्वचा को रंग देने वाली कोशिकाएं होती हैं.
न्यूट्रिशनिस्ट का भी यही कहना है कि ये सब बस धारणा है. इनका कोई भी वैज्ञानिक आधार नहीं है. हां, कुछ लोग खाने-पीने की कुछ चीज़ों से एलर्जिक होते हैं. इससे लोगों को त्वचा की एलर्जी हो सकती है. लेकिन दूध और मछली एक साथ खाने से सिर्फ़ किसी को विटिलगो नहीं हो जाता.
दिलचस्प बात ये है कि जहां लोग दूध और मछली से विटिलगो होने का भ्रम पाले हैं. वहीं, एक पोच फ़िश बनती है, जिसे दूध में ही पकाया जाता है. तो एक्सपर्ट्स का तो यही कहना है कि मछली खाने के बाद दूध पीने से विटिलगो नहीं होता.
हां, ऐसा करके मुंह पर लाल चकत्ते ज़रूर पड़ सकते हैं. जैसा कि बताया आपकी मां आपको लपड़िया सकती हैं.
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