अलवर गैंगरेप मामले में पुलिस ने पांचों आरोपियों को गिरफ़्तार कर लिया है. पुलिस पहले ही तीन आरोपियों को गिरफ़्तार कर चुकी थी. जबकि गुरुवार को पांचवें और आख़िरी आरोपी हंसराज गुर्जर को भी गिरफ़्तार कर लिया गया है. पुलिस ने 8 मई को चौथे आरोपी महेश गुर्जर को गिरफ़्तार किया था.

दरअसल, ये घटना 26 अप्रैल की बताई जा रही है. पुलिस पर आरोप है कि लोकसभा चुनावों के चलते इस मामले को दबा दिया गया. इसके बाद दलित समुदाय के विरोध प्रदर्शन के बाद आखिरकार 2 मई को इस मामले में कार्रवाई हुई.

मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए लापरवाही बरतने के आरोप में थानागाज़ी के एसएचओ सरदार सिंह समेत 4 पुलिसवालों को सस्पेंड कर दिया गया. जबकि अलवर के एसपी राजीव पार्चर का ट्रांसफ़र कर दिया गया.

इस मामले में सबसे अच्छी बात ये रही कि दलित समुदाय और मीडिया ने इसे ज़ोर-शोर से उठाया. अगर ऐसा नहीं होता तो शायद ही इस मामले में कोई कार्रवाई हो पाती.

ये घटना राजस्थान के अलवर ज़िले की है. जहां कुछ युवक मोटर साईकल से बाज़ार जा रहे एक दलित दंपती का रास्ता रोक कर उन्हें किसी सुनसान जगह पर ले गए. इसके बाद इन हैवानों ने पति के सामने ही महिला के साथ बारी-बारी से 3 घंटे तक सामूहिक बलात्कार किया.

इस दौरान इन आरोपियों ने घटना के 11 वीडियो भी बना लिए थे. इन वीडियोज़ के सहारे ये आरोपी इस दंपत्ति से पैसे की मांग कर रहे थे. बार-बार पैसे की मांग करने के बाद जब इस दंपत्ति ने पैसे नहीं दिए तो आरोपियों ने घटना का वीडियो वायरल कर दिया. बस यहीं से इस मामले ने तूल पकड़ना शुरू कर दिया था.