भारतीय रेल अपनी लेट-लतीफ़ी के लिए पूरी दुनिया में कुख्यात है. खाना और साफ़-सफ़ाई की बात छोड़ ही दीजिए. अकसर यात्री ख़राब खाने और गंदे टॉयलेट्स की शिकायत करते रहते हैं, लेकिन रेलवे और इसके कर्ता-धर्ताओं की कान पर जूं तक नहीं रेंगती. ऐसे ही लोगों को सबक सिखाया है स्वराज एक्सप्रेस के 100 यात्रियों ने, जिन्होंने तब तक ट्रेन को आगे बढ़ने नहीं दिया, जब तक उसके गंदे टॉयलेट्स की सफ़ाई नहीं हो गई.

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ये पूरी घटना अंबाला स्टेशन पर हुई. हुआ यूं कि मुंबई से कटरा जा रही स्वराज एक्सप्रेस के यात्रियों ने टीटी से गंदे टॉयलेट और कोच की शिकायत की. टीटी ने भी अपना सरकारी धर्म निभाते हुए एक कान से सुना और दूसरे से निकाल दिया. जब काफ़ी देर तक उनकी शिकायत का कोई समाधान नहीं हुआ, तब अंबाला स्टेशन पर एसी कोच के गुस्साए यात्रियों ने रेलवे के ख़िलाफ नारे लगाने शुरू कर दिए.

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हंगामा होते देख जब ट्रेन को आगे बढ़ाने की कोशिश की गई, तब पैसेंजर्स ने चेन खींच कर उसे आगे नहीं जाने दिया. आनन-फ़ानन में रेलवे अधिकारियों के कान खड़े हुए और वो उनके पास पहुंचे. स्टेशन अधिक्षक B S Gill और रेलवे पुलिस ने उनसे कहा कि अगले स्टेशन पर सफ़ाई कर दी जाएगी, लेकिन वो अड़े रहे और तुरंत सफ़ाई करने की मांग करने लगे. 

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उनके आगे घुटने टेकते हुए अधिकारियों ने हाथों-हाथ ट्रेन के सभी कोच और टॉयलेट्स की सफ़ाई करवाई. पूरी तरह से सफ़ाई होने के बाद ही ट्रेन आगे की यात्रा पर निकल सकी. कुछ यात्रियों ने इसकी शिकायत रेल मंत्री से भी करने की बात कही. इसी तरह कुछ दिनों पहले कांग्रेस के सांसद B S Gill गिल ने भी एक यात्री की शिकायत पर टाटा मूरी एक्सप्रेस की चेन खींचकर उसके पानी के टैंक भरवाए थे.

गौरतलब है कि इस तरह की दिक्कतें आए दिन रेल यात्रियों की सहनी पड़ती हैं, लेकिन उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है.