एशिया की दो सबसे बड़ी शक्तियां भारत और चीन एक-दूसरे के आमने-सामने हैं. सोमवार रात को दोनों सेनाओं के बीच गलवान घाटी में हिंसक झ़ड़प हुई, जिसमें भारत के एक कर्नल समेत 20 जवान शहीद हो गए. चीन को भी नुक़सान हुआ, लेकिन इसके बारे में कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है. इस घटना के बाद तमाम तरह की रिपोर्ट्स और दावे सामने आने लगे, जिसमें से एक दावा ये है कि चीन ने लड़ाई के दौरान लोहे की रॉड का इस्तेमाल किया था, जिसमें कील लगी हुई थी.
एक हथियार की तस्वीर वायरल हो रही है, जिसमें ये दावा किया जा रहा है कि लाइन ऑफ़ एक्चुअल कंट्रोल (एलएसी) पर चीन ने इस कील लगे लोहे की रॉड का इस्तेमाल किया था. BBC की रिपोर्ट के मुताबिक़, भारत-चीन सीमा पर मौजूद भारतीय सेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने भी ये तस्वीर उन्हें भेजकर बताया है कि चीन ने इसी हथियार का इस्तेमाल किया था.
इस तस्वीर को सबसे पहले रक्षा विशेषज्ञ अजय शुक्ला ने ट्वीट किया था. उन्होंने इस तरह का हथियार इस्तेमाल करने को बर्बरता करार दिया.
वहीं, गलवान में हुई हिंसक झड़प के बाद विपक्ष ने सरकार को घेरना शुरू कर दिया. कांग्रेसी नेता राहुल गांधी ने सवाल उठाया कि भारतीय सैनिकों को बिना हथियार किसने और क्यों भेजा? इस पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने बताया कि गलवान घाटी में भारत-चीन सीमा पर तैनात भारतीय जवानों के पास हथियार थे लेकिन पिछले समझौतों के तहत उन्होंने हथियार का इस्तेमाल नहीं किया.
Let us get the facts straight.
— Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) June 18, 2020
All troops on border duty always carry arms, especially when leaving post. Those at Galwan on 15 June did so. Long-standing practice (as per 1996 & 2005 agreements) not to use firearms during faceoffs. https://t.co/VrAq0LmADp
गौरतलब है कि भारत-चीन के बीच 1996 की संधि में ये तय हुआ था कि विवादित सीमा क्षेत्र में किसी भी तरह के हथियार का इस्तेमाल नहीं किया जाएगा.
बता दें, ये तस्वीर सोशल मीडिया पर तेज़ी से वायरल हो रही है. हालांकि, भारत और चीन दोनों के ही तरफ़ से इस पर कोई टिप्पणी नहीं की गई है.