कहते हैं किताब ज्ञान का सागर होती हैं. इससे दोस्ती करने वाला कभी भी दुखी नहीं हो सकता. ये हमारी सोच विकसित करती है, हमारा नज़रिया बदलती है. किताबें हमें जीने का तरीका बताती हैं. आज की दौड़ में आगे रहना सिखाती हैं और इन सब चीज़ों में स्कूल की पढ़ाई का बड़ा महत्व रखा जाता है. तभी हर बच्चे को स्कूल की तालीम लाज़मी मानी जाती है.

लेकिन क्या सच में स्कूल की किताबों में जो लिखा होता है, वो ज्ञान ही होता है? अभी तक तो हम यही मानते थे, लेकिन देश के सबसे बड़े शिक्षा बोर्ड, CBSE की 12वीं क्लास की Physical Education की किताब पढ़ कर अब भरोसा उठने लगा है.

महिला और पुरुष की शारीरिक बनावट के बारे में पूछ गए सवाल पर, जो इस किताब में जवाब लिखा है उसे पढ़ कर आप चौंक जाएंगे.

क्यों लगा शॉक, किसी भी महिला की शारीरिक बनावट पर ऐसी टिप्पणी या यूं कहें कि बच्चों के दिमाग में ये बात डालनी कहां तक सही है. यही नहीं, उन्होंने अपनी बात को सही साबित करने के लिए उदाहरण के रूप में मिस वर्ल्ड और मिस यूनिवर्स तक की शारीरिक बनावट के बारे में लिख डाला.

ये किताब डॉक्टर वी.के. शर्मा द्वारा लिखी गई है और ये NCERT के अंतरगत आती है. पूरे भारत में 12वीं क्लास के बच्चे इसे पढ़ रहे हैं. जैसे ही ये ख़बर सोशल मीडिया पर आई, लोगों ने इसके बारे में अपने विचार रखने शुरू कर दिए.

इतना ही नहीं, इस किताब ने महिलाओं के पुरुषों से कमज़ोर होने के पूरे कारण विस्तार में बताए हैं.

आखिर कैसे कोई भी किताब या शख़्स किसी की शारीरिक बनावट पर कुछ भी कह सकता है. ये बहुत बड़ी गलती है, क्योंकि इससे आने वाली पीढ़ी प्रभावित होगी और दूसरे लिंग के बारे में गलत धारणा पैदा होगी. हमें किताबों में क्या लिखना है और बच्चों को क्या पढ़ाना है इसके ऊपर कुछ कड़े फ़ैसले लेने होंगे, क्योंकि ये हमारे आने वाले कल की बात है.