आठ साल पहले भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान(ISRO) संगठन ने RISAT श्रृंखला की पहली सैटेलाइट लॉन्च की थी. बुधवार की सुबह RISAT-2B को Polar Satellite Launch Vehicle की मदद से अंतरिक्ष में भेजा गया. इसकी ख़ासियत ये है कि ये हर मौसम में काम करने की क्षमता रखती है.
Indian Space Research Organisation (ISRO) launches PSLVC46 from Satish Dhawan Space Centre, Sriharikota. PSLVC46 will launch the RISAT-2B radar earth observation satellite into a 555 km-altitude orbit. pic.twitter.com/iY2paDVjls
— ANI (@ANI) May 22, 2019
RISAT-2B का वजन 615 किलो है, इसे आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन अंतरिक्ष केंदेर के लॉन्च पैड से भेजा गया. ये अंतरिक्ष में भारत को और सशक्त बनाएगी.
लॉन्च के पंद्रह मिनट बाद धरती से 555 किलोमिटर दूर अंतरिक्ष में RISAT-2B को 37 डिग्री की ढाल पर छोड़ दिया गया.
भारत इस साल एक RISAT-2BR रडार इमेज सैटेलाइट भी लॉन्च करेगा, जिसका इस्तेमाल फॉरेन साइंस और डिज़ास्टर मैनेजमेंट में किया जाएगा.
RISAT-2B अपनी किस्म की दूसरी सैटेलाइट है, जिसका इस्तेमाल मौसम पर नज़र बनाए रखने के लिए होगा. ये ख़राब से ख़राब मौसम में सुचारु रूप से काम कर सकेगी. X-Band रडार पर काम करने वाली ये सैटेलेाइट मुख्य रूप से खेती, आपदा और वानिकी (Forestry) के लिए उपयोग में लाई जाएगी. इसमें सेना के काम आने लायक एप्लिकेशन भी डाली गई हैं. RISAT-2B घने बादल में छिपी चीज़ों की जानकारी भी दे सकता है.