कोरोनाकाल में जापान पर एक नई मुसीबत आन पड़ी है. वहां पर क़रीब 11 साल बाद आत्महत्या करने वाले लोगों की संख्या में तेज़ी से इज़ाफा हो रहा है. इसे देखते हुए जापान की सरकार ने Minister Of Loneliness को नियुक्त किया है ताकि इस पर अंकुश लगाया जा सके.
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, जापान में लोग अकेलेपन और डिप्रेशन के अधिक शिकार हैं. इसके कारण वहां पर पिछले साल बहुत से लोगों ने आत्महत्या कर ली. आंकड़ों की बात करें तो 2019 की तुलना में 2020 में सुसाइड के मामलों में क़रीब 70 फ़ीसदी की बढ़ोतरी देखी गई.
हैरानी की बात ये है कि वहां पर आत्महत्या करने वालों में महिलाओं का प्रतिशत अधिक है. आत्महत्या करने वाली महिलाओं के आंकड़ों में लगभग 15 प्रतिशत का इजाफ़ा देखा गया है. जापान टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, अक्टूबर 2020 में जहां कोरोना से 1,765 मौतें हुई वहीं आत्महत्या करने वालों की संख्या इसी महीने 2,153 रही.
वहां अधिकतर महिलाएं अकेले रहती हैं. उनमें से बहुतों के पास स्थिर रोज़गार नहीं है. ये भी महिलाओं की आत्महत्या की एक बड़ी वजह बताई जा रही है. इन आंकड़ों को ध्यान में रखते हुए पीएम योशीहिदे सुगा(Yoshihide Suga) ने ततुषी सकामोटो(Tetsushi Sakamoto) को Minister Of Loneliness के रूप में नियुक्त किया है ताकि इस समस्या का कोई हल निकाला जा सके.
वहां की सरकार पहले ही अकेलेपन और सामाजिक अलगाव जैसी समस्याओं से लोगों को बाहर निकालने के लिए कई योजनाएं और कार्यक्रमों पर काम कर रही है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि टेक्नोलॉजी में अग्रणी देशों की सूची में होने के बावजूद जापान के लोग कई सालों से अकेलेपन की समस्या से जूझ रहे हैं.