आज़म खान ने 2019 के इलेक्शन के प्रचार में रामपुर में जयाप्रदा को लेकर काफ़ी भद्दी टिप्पणी की थी. एक MP होने के नाते आज़म ख़ान की भाषा निम्न दर्जे की थी.  

इसके लिए सोशल मीडिया से लेकर हर जगह उनकी अच्छी-ख़ासी छीछालेदर हो चुकी है, होनी भी चाहिए.

जयाप्रदा पर इस भद्दी टिप्पणी के बाद NCW, नेशनल कमीशन फ़ॉर वीमेन ने आज़म ख़ान को नोटिस भेजा. NCW की तरफ़ से एक अच्छा कदम था लेकिन इस नोटिस में उनसे एक अजीब सी ग़लती हो गयी. 

पहले ये नोटिस पढ़िए:  

नोटिस का सार हिंदी में ये है:  

नेशनल कमीशन फ़ॉर वीमेन के सामने कई ऐसी ख़बरें आयी हैं, जिसमें आपने 14 अप्रैल 2019 के दौरान एक महिला नेता के ख़िलाफ़ लिंगभेदी (Sexist) टिप्पणी की हैं. आपने पहले भी महिलाओं के खिलाफ़ घाटिया भाषा का प्रयोग किया है. आपकी ये भाषा महिलाओं के प्रति अपमान दर्शाता है और NCW इसकी निंदा करता है. इसके मद्देनज़र आपसे इस टिप्पणी इस कारण और Explanation देने की मांग की जाती है. 

महिला आयोग के लेटर की नीयत तो अच्छी थी, लेकिन उसमें एक भारी चूक की वजह से इस लेटर का मज़ाक बन गया. 

दरअसल, जहां पर Sexist शब्द इस्तेमाल किया जाना था, वहां पर ग़लती से Sexiest शब्द इस्तेमाल हो गया. ये एक तरह से अर्थ का अनर्थ होना था.