ये पोस्टर कहां से आएं, इसको बनाने वाला कौन है, किसी को भी इसकी जानकारी नहीं है. परंतु चारों ओर इस पोस्टर की चर्चा हो रही है. पोस्टर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर छपी है और नीचे लिखा है ‘The Lie Lama’. इस शब्द की तुकबंदी तिब्बत के धार्मिक गुरु दलाई लामा से की गई है.
इस पोस्टर को पहली बार पिछले हफ़्ते देखा गया था, पुलिस ने सभी पोस्टर्स को तुरंत हटा लिया और अज्ञान व्यक्ति के ख़िलाफ़ केस भी दर्ज कर लिया गया था.
The Lie Lama
Narendra Modi posters put up in Delhi has anyone else seen these ? pic.twitter.com/lyZVpbHb1j— Raghav Chopra (@AarSee) May 10, 2018
लेकिन तब तक काफ़ी देर हो चुकी थी, सोशल मीडिया पर उसी पोस्टर के तर्ज पर कई पोस्ट शेयर किए जाने लगे.
The Lie Lama pic.twitter.com/KKImTKWEWz
— Jignesh Mevani (@jigneshmevani80) May 11, 2018
अधिकांश पोस्टर दिल्ली के बताए जा रहे हैं लेकिन कुछ ट्विटर यूज़र्स का कहना है कि कर्नाटक में भी ऐसे पोस्टर देखे गए हैं.
Pictures do speak louder then words
“The Lie Lama” pic.twitter.com/dTuJvASxIA— Ravi श्रीvastava (@ravi4354) May 11, 2018
इन पोस्टर्स को किसने बनाया है, ये किसी को भी नहीं पता. माना जा रहा है कि इस पोस्टर को छापने का कारण प्रधानमंत्री द्वारा कर्नाटक की चुनावी रैलियों में लगातार ग़लत तथ्यों को अपने भाषणों में पेश किया है.
बेंगलुरु- कूड़ा शहर
3 मई को एक रैली में नेरंद्र मोदी ने बेंगलुरु को ‘कचरा शहर’ कहा और इसका आरोप कांग्रेस पार्टी के ऊपर लगाया. कांग्रेस पार्टी के सिद्धारमैया सरकार पर आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि सरकार ने इस शहर की ज़रूरतों पर ध्यान नहीं दिया.
इसमें कोई दो राय नहीं है कि बेंगलुरु के लिए कचरा एक विकट समस्या है. किंतु इस शहर की स्थिति प्रधानमंत्री के चुनावी क्षेत्र वाराणसी से कहीं बेहतर है. WHO ने वाराणसी को विश्व के 20 सबसे प्रदूषित शहरों की सूची में रखा है.
सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर आरोप
A Dalit was chosen as President of India. Even after a year, Sonia Gandhi has still not given a courtesy call to him : PM Modi in Jamakhandi, Karnataka #KarnatakaTrustsModi pic.twitter.com/BEfujtuwY9
— BJP (@BJP4India) May 6, 2018
6 मई की रैली में नरेंद्र मोदी ने सोनिया गांधी और राहुल गांधी के ऊपर दो आरोप लगाए. पहला, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को राष्ट्रपति बनाए जाने पर उन्हें शुभकामनाएं नहीं दी. दूसरा, 2014 में भाजपा की सरकार बनने पर सोनिया गांधी और राहुल गांधी ने भाजपा को जीत की बधाई नहीं दी.
प्रधानमंत्री के दोनों आरोप ग़लत साबित हुए, कांग्रेस पार्टी ने सोशल मीडिया पर दोनों आरोपों के जवाबों के सबूत पेश किए और दिखाया कि नरेंद्र मोदी ने जनता के सामने ग़लत तथ्य रखे हैं.
नेहरु ने जनरल थिमैया को अपमानित किया
कलबुर्गी में एक चुनावी भाषण के दौरान नरेंद्र मोदी ने पूर्व प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू पर आरोप लगाते हुए कहा कि 1948 की भारत-पाक में नेहरु ने फ़ील्ड मार्शल करियप्पा और जनरल थिमैया का अपमान किया था. इतिहास इस बात का गवाह है, युद्ध में पाकिस्तान को पराजित करने के बाद जनरल थिमैया को प्रधानमंत्री नेहरु और रक्षा मंत्री कृष्णा मेनन ने अपमानित किया था.
इस आरोप पर प्रतिक्रिया देते हुए कई इतिहासकारों ने प्रधानमंत्री के तथ्यों को ग़लत बताया. कृष्णा मेनन अप्रेल 1957 से अक्टूबर 1962 तक रक्षा मंत्री थे, जनरल थिमैया मई 1957 से मई 1961 तक आर्मी के चीफ़ थे.
शहीद भगत सिंह
August 1929 :: Jawaharlal Nehru On His Meeting With Bhagat Singh , Jatindranath Das and Batukeshwar Dutt In Borstal Jail , Lahore
( Photo – Selected Works Of Jawaharlal Nehru Volume 4 /Page 13 ) pic.twitter.com/lD4W0IaEhZ— indianhistorypics (@IndiaHistorypic) May 10, 2018
बिदर में एक रैली के दौरान नरेंद्र मोदी ने कहा कि कांग्रेस का एक भी नेता जेल में भगत सिंह और बटुकेश्वर दत्त से मिलने नहीं गया था. लेकिन कई इतिहासकारों के अनुसार, जवाहरलाल नेहरु न सिर्फ़ भगत सिंह और उनके साथियों से मिलने गए थे, बल्की उनके बारे में लिखा भी था.
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