भारत में ‘टिड्डी दल’ का हमला रुकने का नाम ही नहीं ले रहा है. टिड्डियों के हमले से अब तक देश के 7 राज्य प्रभावित हो चुके हैं. अब तक किसानों की करोड़ों की फ़सल चौपट हो चुकी है. भारत को एक बार फिर जुलाई में टिड्डियों के हमले का सामना करना पड़ सकता है
Indiatimes की ख़बर के मुताबिक़, संयुक्त राष्ट्र ने चेतावनी देते हुए कहा है कि भारत में फिर से जुलाई महीने ‘टिड्डी दल’ का हमला हो सकता है. राजस्थान और मध्यप्रदेश के खेतों और फसलों पर एक बार फिर से टिड्डियों का हमला हो सकता है. इसके अलावा देश के 16 अन्य राज्यों को भी इससे नुक़सान पहुंच सकता है. ये चेतावनी संयुक्त राष्ट्र की फ़ूड इकाई ‘फ़ूड एंड एग्रिकल्चर ऑर्गेनाइजेशन’ ने जारी की है.
इस बयान में कहा गया है कि, राजस्थान के रेगिस्तान में मानसून की शुरुआत में अंडे देने के लिए लौटने से पहले टिड्डियों का दल पूर्व और पश्चिम की तरफ़ बढ़ेगा. जून में दक्षिण ईरान की तरफ़ से टिड्डियों का दल भारत में आएगा. इसके बाद ‘हॉर्न ऑफ़ अफ़्रीका’ की तरफ़ से जुलाई में टिड्डियों का एक बड़ा दल भारत पहुंचेगा. इसके अलावा टिड्डियों का ये दल पूर्वी अफ़्रीका के कुछ देशों में भी जुलाई में हमला बोल सकता है.
‘फ़ूड एंड एग्रिकल्चर ऑर्गेनाइजेशन’ ने कहा कि, पूर्वी अफ़्रीका के उत्तर-पश्चिमी केन्या में टिड्डियों ने अंडे देना शुरू कर दिया है. कई टिड्डी दल इकट्ठा हो रहे हैं. ये सभी दल जून के दूसरे सप्ताह से लेकर मध्य जुलाई तक नई टिड्डियों के साथ भारत की ओर बढ़ेंगे. ऐसी ही स्थिति सोमालिया और इथियोपिया में उत्पन्न हो रही है. अधिकांश नई टिड्डियां मध्य-जून के बाद केन्या से इथियोपिया और उत्तर सूडान से दक्षिण सूडान की ओर जाएंगी.
दुनिया भर में टिड्डियों की 10 प्रजातीय सक्रिय
एक हमले में खा जाती हैं 2500 लोगों का अनाज
जानकारी दे दें कि भारत में ‘टिड्डी दल’ का हमला सबसे पहले साल 1993 के सितंबर-अक्टूबर में हुआ था. इस दौरान राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश, हरियाणा पंजाब और उत्तर प्रदेश के कई हिस्सों में ‘टिड्डी दल’ ने भारी नुकसान पहुंचाया था. साल 2019 में भी ‘टिड्डी दल’ ने हमला किया था. इस साल भी इसने राजस्थान और मध्यप्रदेश के लाखों एकड़ में फ़ैले खेतों को काफ़ी नुकसान पहुंचाया है.
माना जा रहा है कि भारत में अगर ‘टिड्डी दल’ का हमला इसी तरह से जारी रहा तो देश के अनाज भंडारण में भारी गिरावट देखी जा सकती है और आपूर्ति की कमी भी हो सकती है.