UPSC Results 2023: संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) ने मंगलवार को सिविल सेवा 2022 परीक्षा का परिणाम घोषित कर दिया. भारत की सबसे कठिनतम परीक्षाओं में से एक यूपीएससी में इस बार कुल 933 उम्मीदवार सेलेक्ट हुए हैं. वहीं 178 उम्मीदवारों की रिजर्व लिस्ट भी तैयार की गई है.
रिज़ल्ट आने के बाद 934 परिवारों में जश्न मना. अब आप कहेंगे कि 933 कैंडिडेट पास हुए तो जश्न 934 में क्यों हुआ? ये ब्लंडर हमने नहीं किया जनाब ये यूपीएससी की वजह से हुआ है वो भी एक ही राज्य में और एक ही नाम की दो लड़कियों के साथ.
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एक ही रोल नंबर पर दो लड़कियों ने परीक्षा देने का किया दावा
दरअसल, जब UPSC Results आए तो मध्यप्रदेश में एक ही रोल नंबर पर दो लड़कियों ने परीक्षा, इंटरव्यू देने का दावा किया. इनकी 184वीं रैंक आई है. दोनों के घर ही जश्न मन रहा है. मगर जब उन्हें ये बात पता चली तो वो थोड़े मायूस हुए लेकिन उन्होंने इसकी जांच करवाने की भी बात कही.
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एक ही राज्य से रखती हैं ताल्लुक
रिजल्ट में 184 रैंक जिन्हें मिली है उनका नाम आयशा है. पहली लड़की देवास की रहने वाली हैं और उनके पिता नजीरुद्दीन हैं. दूसरा परिवार अलीराजपुर ज़िले का रहने वाला है. उनकी बेटी का नाम आयशा मकरानी और पिता सलीमुद्दीन. हैरानी की बात ये है कि दोनों का रोल नंबर एक ही है. एडमिट कार्ड में रोल नंबर 7811744 दर्ज है.
कैसे हुई इतनी बड़ी चूक?
बड़ा सवाल ये है कि UPSC ने एक ही रोल नंबर दो कैंडिडेट्स को देने की बड़ी चूक कैसे कर दी? अलीराजपुर की आयशा मकरानी के भाई शाहबाजु्द्दीन मकरानी का दावा है कि उनकी बहन ने काफ़ी मेहनत कर परीक्षा पास की है. वो इस विवाद को लेकर कोर्ट भी जाएंगे.
वहीं देवास की आयशा फातिमा के पिता नजीरुद्दीन का भी दावा है कि उनकी बेटी का ही सिलेक्शन हुआ है. अब कौन- सही है और कौन ग़लत ये तो यूपीएससी ही तय कर सकता है. फ़िलहाल इस मामले में उनका कोई बयान नहीं आया है.