आज़ादी से पहले के पंजाब में महिलाओं (Women’s) को उतनी ही आज़ादी थी जितनी पुरुषों को. इतिहास में इन्हें बहुत कम ही जगह दी गई. इंस्टाग्राम पर एक पेज है The Lost Heer Project. ये पेज विभाजन से पहले भारत में महिलाओं की क्या स्थिति थी ये दर्शाने की कोशिश में जुटा है.
इस पेज को चलाने वाले हरलीन सिंह का कहना है कि हमारे पितृसत्तात्मक सोच वाले समाज ने इतिहास में भी महिलाओं को वो स्थान नहीं दिया जिसकी वो हक़दार थीं. आज़ादी से पहले पंजाब में महिलाएं पर्दे के पीछे रहने वाली भोली-भाली महिलाएं नहीं थीं. वो हमेशा ही स्मार्ट, स्वतंत्र और बेबाक रही हैं. इन तस्वीरों के ज़रिये ये वही बतलाने की कोशिश कर रहे हैं. आइए एक नज़र हम इनके द्वारा भारतीय महिलाओं के जन-जीवन को दिखाती इन तस्वीरों पर डाल लेते हैं.
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1. 1923 राष्ट्रीय कैलेंडर लाहौर में छपी स्वतंत्रता संग्राम में सक्रिय महिलाओं की तस्वीर.

2. ऑल इंडिया रेडियो स्टेशन लाहौर में अपना प्रोग्राम करने वाली कलाकार मोहिनी दास.

3. बंटवारे के बाद बिछड़ी अपनी पत्नी से मिलता एक पति.

4. लाहौर के एक महिला विद्यालय की तस्वीर.

5. दमयंती साहनी बीबीसी लंदन में एक प्रोग्राम करते हुए.

6. अपने पति के साथ विदेश जाती एक महिला और उसका परिवार.

7. एक फ़ोटो स्टूडियो में पिक्चर क्लिक करवाती एक महिला (Women ).

8. लाहौर के रिफ़्यूजी कैंप में शरणार्थियों को भोजन देती महिला वार्डन.

9. एक विवाह में शामिल होती एक शिक्षित पंजाबी महिला.

10. एक स्कूल में पढ़ती मुस्लिम बच्चियां.

11. एक पंजाबी महिला की तस्वीर.

12. मुल्तान के एक स्कूल में पढ़ाने वाली शिक्षिका सावित्री चौधरी.

13. 20वीं सदी के एक पोस्टकार्ड पर छपी पंजाबी महिला की तस्वीर.

14. लाहौर के एक कॉलेज से BA की डिग्री पूरी करने वाली महिलाएं.

15. एक्ट्रेस नूर जहां की फ़िल्म का पोस्टर.

16. मुस्लिम लीग की महिला सदस्य.

17. गोल्डन टेंपल में मत्था टेकने आई महिलाएं.

ये तस्वीरें बताती हैं कि उस दौर में भी महिलाएं पुरुषों के कंधे से कंधा मिलाकर चलती थीं.