क्या आपने कभी सोचा है कि मोबाइल के चार्जर काले और सफ़ेद ही क्यों होते हैं?

Nripendra

Why Mobile Charger Comes in Black and White Color: हम सुबह से शाम तक अपनी डेली लाइफ़ में बहुत-सी चीज़ों का इस्तेमाल करते हैं, जिनमें मोबाइल फ़ोन, टैब, स्मार्ट स्पीकर जैसे गैजेट्स भी शामिल हैं. लेकिन, इनसे जुड़ी बहुत-सी बातें ऐसी हैं जिनके बारे में अधिकतर लोगों को जानकारी नहीं होती है या उनपर ध्यान नहीं जाता है. वहीं, जब उन बातों के बारे में पता चलता है कि मुंह से बस यही निकलता है ओह माय गॉड. 

ऐसी की एक चीज़ के बारे में हम आपको बताने जा रहे हैं. वैसे क्या आपने कभी गौर किया है कि मोबाइल के जो चार्जर आते हैं, वो हमेशा काले और सफ़ेद ही क्यों होते हैं? बहुतों की तरह शायद आपका भी ध्यान इस ओर नहीं गया होगा. कोई नहीं, इस बारे में विस्तार से हम आपको बताते हैं. 

मोबाइल के चार्ज़र काले और सफ़ेद क्यों होते हैं, ये जानने से पहले आइये, जान लेते हैं कि मोबाइल चार्जर काम कैसे करता है. 

मोबाइल चार्जर काम कैसे करता है? – How does a mobile charger work? 

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Why Mobile Charger Comes in Black and White Color in Hindi: अलग-अलग मोबाइल फ़ोन के अलग-अलग चार्जर होते हैं, लेकिन उनकी की-फ़ंक्शन लगभग बराबर होता है. वहीं, घर में जो करंट आता है, वो AC (Alternative Current) होता है. इसलिये, घर में इस्तेमाल होने वाली चीज़ें जैसे फ़्रिज़ या फैन के प्लग को AC Socket में सीधे लगा दिया जाता है. इनके लिए किसी कन्वर्टर की ज़रूरत नहीं होती है.  

लेकिन, वो डिवाइस जैसे मोबाइल जिनमें बैटरी लगी होती है, उनकी बैटरी चार्ज करने के लिए DC करेंट की ज़रूरत होती है. मोबाइल का चार्जर वो डिवाइस है, जो बिजली के ज़रिये बैटरी के चार्ज को रिस्टोर करता है. वहीं, ये AC करेंट को DC करेंट में कन्वर्ट करने का काम करता है.  

मोबाइल का चार्ज़र काला क्यों होता है? 

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Why Mobile Charger Comes in Black and White Color in Hindi: जैसा कि आपको पता होगा कि काला एक ऐसा रंग है, जो बाकी रंगों की तुलना में हीट को अपने में अच्छी तरह अब्ज़ॉर्ब कर सकता है. काले रंग को एक आदर्श उत्सर्जक (Emiter) माना गया है और इसका उत्सर्जन मान 1 होता है.  

इसके अलावा, ऐसा कहा जाता है कि ब्लैक मटैरियल बाकी रंगों की तुलना में सस्ता बिकता है. यही वजह है कि चार्जर काले बनाए जाने लगे, क्योंकि कोई भी कंपनी फ़ोन से अलग चार्जर पर अधिक पैसा ख़र्च नहीं करना चाहेगी. 

वहीं, ब्लैक चार्जर में पहले लाल या हरी लाइट भी रहती थी, ताकि अंधरे में पता लगाया जा सके कि चार्जर कहा हैं.  

ये भी पढ़ें: जानिए मोबाइल फ़ोन के चार्जर पर बने डबल स्क्वायर में कौन सी महत्वपूर्ण जानकारी होती है

सफ़ेद बनने लगे चार्जर 

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शुरुआत में मोबाइल के चार्जर काले ही आ रहे थे, लेकिन बाद में चार्जर सफ़ेद आने लग गए. बहुत-सी कंपनियां अपने फ़ोन के चार्जर सफ़ेद ही रखती हैं. इसके पीछे की वजह ये है कि काले रंग की तुलना में सफ़ेद का नाइट विज़न अच्छा होता है यानी कम रोशनी या रात के अंधेरे में सफ़ेद चार्जर को आसानी से ढूंढा जा सकता है. 

वहीं, इसकी रिफ़ेल्टर क्षमता भी कम होती है और इस वजह से चार्जर के अंदर आने वाली बाहर की गर्मी को नियंत्रित करने में सफेद रंग मदद करता है.

वहीं, घर के स्विच बोर्ड और अधिकतर दीवारों का रंग सफ़ेद होता है, तो कलर मैचिंग भी इसका एक कारण हो सकता है.  

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