ये कलयुग है. इसलिये इस युग में इंसान ही इंसान से भलाई की उम्मीद नहीं कर सकता, तो भी फिर भला जानवर उनसे क्या ही उम्मीद रखें. पर कई लोग हैं, जो कलयुग में भी ख़ुद से पहले दूसरों के बारे में सोच रहे हैं. इसी क्रम में 17 वर्षीय Eduardo Caioado का नाम भी शामिल है. Eduardo ब्राज़ील के Anápolis का रहना वाला है और 9 वर्ष की उम्र से बेसहारा जानवरों का सहारा बना हुआ है.

सबसे ज़्यादा ख़ुशी की बात ये है कि इस वर्ष Eduardo ने इनकी देखभाल करने के लिये किराये पर एक घर पर भी लिया है. Eduardo के इस शेल्टर का नाम EduPaçoca Institute है. कुछ प्रयोजक ख़र्चों में उसकी मदद कर रहे हैं. 17 वर्षीय इस लड़के की सोच आप सभी को हैरान कर सकती है. Eduardo का कहना है कि हम सभी भगवान से चमत्कार की उम्मीद करते हैं. पर चमत्कार तो हमारी दैनिक क्रियाओं में होता है. इसके साथ ही उसका ये भी कहना है कि ये कुत्ते और बिल्ली उसके साथ तब तक रहेंगे, जब तक वो बूढ़े होकर मर नहीं जाते.

Eduardo हर दिन 30 किमी का सफ़र करके इनसे मिलने जाता है और उसे इससे कोई शिकायत भी नहीं है, क्योंकि यही उसका सपना था. Eduardo ने एक इंटरव्यू के दौरान बताया कि जिस क्षेत्र में वो रहता है. वहां बहुत ठंड होती है, जिस कारण hypothermia से कई कुत्तों की मौत हो गई है. जिसके लिये कोई कार्रवाई नहीं की गई. ये सब देख कर उसने उन बेसहारा लोगों की मदद का फ़ैसला लिया. Eduardo का इंस्टीट्यूट इतना बड़ा नहीं है कि वो हर आवारा कुत्ते-बिल्ली को वहां रख सकें. पर हां वो बाकि इंस्टीट्यूट से काफ़ी अलग है. Eduardo के लिये ये एक डॉग डिपो से काफ़ी बढ़ कर है, जिस वजह से उसने उसे काफ़ी अच्छे से सजाया भी हुआ है. मतलब वहां रहने वाले जानवरों के लिये मनोरंजन का हर साधन है.

Eduardo के लिये सड़क पर से किसी स्ट्रीट डॉग या कैट को एक चूज़ करना काफ़ी मुश्किल होता है. Eduardo इन आवारा जानवरों को स्वस्थ और अच्छा बनाकर रखना चाहते हैं, ताकि आगे चलकर इन्हें लोग गोद ले सकें. इस सामाजिक कार्यकर्ता ने ये भी बताया कि पहले हफ़्ते में सिर्फ़ तीन डॉग थे, फिर और कुत्ते दिखाई दिए, इसके बाद इनकी संख्या 10 हो गई. वो सब उसे फ़ॉलो कर रहे थे. Eduardo का कहना है कि उनके पास Baiano का नाम का एक ऐसा डॉग है, जो उसके लिये गिफ़्ट्स भी लाता है. Eduardo के लिये हर दिन सबसे बड़ी ख़ुशी यही होती है कि उसकी वजह से कुछ आवारा जानवर चैन की नींद सो रहे हैं. इतना ही नहीं, 15 साल की उम्र में Eduardo को UN के 50 युवा इंस्पायरर्स में से भी चुना गया था. Eduardo ने बीमार और अस्पताल में भर्ती होने के बावजूद आवारा बिल्लियों के लिये घर खोजने की कोशिश की थी.

Eduardo ब्राज़ील को एक बेहतर जगह बनाना चाहते हैं. इसके साथ सोशल मीडिया पर वो मानवाधिकारों, सार्वजनिक नीतियों, पशु संरक्षण और पर्यावरण जैसे मुद्दों पर भी अपनी बात रखता है. Eduardo अब तक 22 कुत्ते और 4 बिल्लियों की जान बचा चुका है.
आइये देखते हैं Eduardo Caioado के सराहनीय कार्य की कुछ तस्वीरें:



















जिस युवा छोटी उम्र में इतना कुछ कर दिखाया, वो भविष्य में क्या-क्या करेगा? ये देखना दिलचस्प होगा.
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