आज कल हुक्का मॉर्डन ज़माने और कूल दिखने की पहचान बन चुका है. युवाओं की इस नब्ज़ को पहचानते हुए कई शहरों में बिना लाइसेंस के हुक्का पार्लर भी चल रहे हैं. अब काम की बात पर आते हैं. हुक्का पीने वालों के लिये एक बुरी ख़बर है. रिपोर्ट्स के अनुसार, हुक्का पीने से शरीर में खू़न के थक्के जम सकते हैं. इसके साथ ही हुक्के का धुंआ स्ट्रोक या दौरे का ख़तरा भी बढ़ा सकता है. 

bhaskar

 ‘Arteriosclerosis, Thrombosis And Vascular Biology’, जर्नल में प्रकाशित अध्ययन के अनुसार, हुक्के में मौजूद तंबाकू के धुएं से लगभग 11 सेकेंड के अंदर ख़ून के थक्के बनने की प्रक्रिया शुरू हो जाती है. लगभग पांच मिनट में ये प्रक्रिया पूरी हो जाती है. 

csa

इस रिसर्च में शामिल University of Texas, US के Fadi Khasawneh का कहना है कि पश्चिम देशों में ये बहुत लोकप्रिय है और सिगरेट की अपेक्षा कम हानिकारक भी माना जाता है. वहीं हुक्के में मौजूद विषैले तत्वों की तुलना सिगरेटों से की जा सकती है. कई दफ़ा ये बहुत ज़्यादा होते हैं. 

thepunekar

रिसर्च के दौरान एक मीशन के ज़रिये चूहे को हुक्के के संपर्क में लाया गया. मशीनों में 12 ग्राम तंबाकू का यूज़ किया गया था. इसके बाद अध्यनकार्ताओं ने ये नोटिस किया कि धुएं के संपर्क में आये चूहे, धुएं से दूर चूहों की तुलना में कैसी गतिविधियां कर रहे हैं. इस दौरान उन्हें पता चला कि ये हमारे शरीर के लिये हानिकारक है. 

News के और आर्टिकल पढ़ने के लिये ScoopWhoop Hindi पर क्लिक करें.