30 साल तक तमिलनाडु सरकार के लिये काम करने वाला एक डाकिया सेवानिवृत्त हो गया. रिटायर सभी होते हैं, पर इस डाकिये की कहानी कुछ ख़ास है. इसलिये लोग सोशल मीडिया पर ज़्यादा भावुक हो रहे हैं. 

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66 वर्षीय डी. सिवन ने अपने कार्यकाल में लोगों तक पत्र पहुंचाने के लिये रोज़ाना 15 किमी तक की ट्रैकिंग की. इस दौरान उन्होंने पहाड़ी और जंगली रास्तों को पार किया. ड्यूटी निभाते हुए कई बार उन्हें जंगली जानवर और सांप-बिच्छू का सामना भी करना पड़ा. 2016 में प्रसारित हुई द हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक, इस हिम्मत वाले काम के लिये उन्हें प्रतिमाह सिर्फ़ 12 हज़ार रुपये दिये जाते थे. 

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 IAS अधिकारी सुप्रिया साहू ने डी. सिवन के समर्पित कार्य और सेवानिवृत्ति के बारे में पोस्ट किया. डी. सिवन ने पिछले सप्ताह ही अपने कार्य से रिटायरमेंट लिया है. IAS द्वारा किये गये इस पोस्ट पर अब तक 22 हज़ार से अधिक लाइक्स मिल चुके हैं. सोशल मीडिया पर लोग उन्हें सच्चा महानायक बता रहे हैं. यहां तक लोग पद्मश्री और भारत देने की मांग भी कर रहे हैं. 

वाकई जिस तरह डी. सिवन ने बिना डरे अपने कर्तव्य का पालन किया, उसके लिये उन्हें सम्मानित किया जाना चाहिये. 

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