अब मुझे मानें न मानें ऐ ‘हफ़ीज़’
चाहे वो अंग्रेज़ी टीचर की प्रननसिएशन के लिए फ़टकार हो या हिन्दी के क्लास में अंग्रेज़ी के शब्द इस्तेमाल करने पर ज़बरदस्त शुद्ध हिन्दी में डांट हो. कोई भूल सकता है भला?
वैसे तो स्कूल में काफ़ी कुछ सीखा. आज जो भी हूं उसमें शिक्षकों का बहुत बड़ा हाथ है. पर कई बार दिल में कुछ घटनाओं को लेकर ये ख़याल आता है कि काश ये स्कूल में पढ़ाया गया होता! काश इस बात का इंच भर आईडिया भी स्कूल में मिला होता.
अपने मन की कुछ उन्हीं बातों की लिस्ट-
1. आर्ट्स लेने वाले बेवकूफ़ या मंदबुद्धी नहीं होते.

2. Maths में फ़ेल होने का मतलब Life में फ़ेल होना नहीं होता.

3. खेती-बाड़ी करना कोई बेइज़्ज़ती की बात नहीं है.

4. खेल के मैदान में दौड़ना उतना ही ज़रूरी है जितना लाइब्रेरी में बैठना.

5. जाति-पाति, धर्म, लिंग ये सब बाद में आते हैं, पहले इंसान आता है.

6. डांस और म्यूज़िक में ज़्यादा और पढ़ाई में कम ध्यान देने वाले बेकार नहीं होते.

7. अगर कोई घुटने तक स्कर्ट पहनती है तो इससे उसका कैरेक्टर डिफ़ाइन नहीं होता.

8. इंजीनियरिंग में अच्छे कॉलेज में एडमीशन न मिलने से ज़िन्दगी बर्बाद नहीं होती.

9. हर महिला पीड़ित और हर पुरुष दोषी नहीं होता.

10. बिना अच्छी डिग्री के भी सफ़लता मिल सकती है.

11. हर बार बड़े सही हों ये ज़रूरी नहीं, इंसान से ग़लती हो सकती है.

12. 12वीं के बाद सब सेट नहीं होता बल्कि और मुश्किल हो जाता है.

13. लड़कियों के लिए बैंक या टीचर की जॉब बेस्ट नहीं है, वो जो चाहें कर सकती हैं.

14. LGBTQ+ दिमाग़ का भ्रम नहीं, हक़ीक़त है.

15. घर पर आप पूरी तरह सुरक्षित हो ये ज़रूरी नहीं.

मुझे शिक्षकों की क़ाबिलियत पर ज़रा भी संदेह नहीं है और मैं उनका सम्मान करती हूं पर ये बातें उन्हें बतानी चाहिए थी. ऐसी बहुत सी बातें होंगी जो अगर आपको स्कूल में पता चल जाती तो आपकी ज़िन्दगी और बेहतर होती. ऐसी बातों को कमेंट के ज़रिए हमसे शेयर करिए.